UP- बदलते मौसम के बीच 15 दिन निरंतर होगी ग्रुप टेस्टिंग

उत्तर प्रदेश सरकार ने कोरोना की रोकथाम के लिए राज्य में 29 अक्‍टूबर से 12 नवंबर तक ग्रुप टेस्टिंग कराये जाने के निर्देश जारी किये है

Update: 2020-10-28 13:45 GMT

लखनऊ। त्‍यौहारों और सर्दी के मौसम को ध्‍यान रखते हुए उत्तर प्रदेश सरकार ने कोरोना की रोकथाम के लिए राज्य में 29 अक्‍टूबर से 12 नवंबर तक ग्रुप टेस्टिंग कराये जाने के निर्देश जारी किये है जिसके तहत फ्रंट लाइन वर्कस, दुकानदारों, वेंडर्स समेत पटाखा बाजार और ब्‍यूटी पार्लर में कार्यरत लोगों की जांच कराई जाएगी।

ने बुधवार को बताया कि ठंड में कोरोना के केसों की संख्‍या में इजाफा होने की आशंका है। बदलते मौसम में कोरोना की रोकथाम के लिए प्रदेश में यूपी सरकार ने ग्रुप टेस्टिंग करने के निर्देश जारी किए हैं। नवंबर और दिसंबर माह को ध्‍यान रखते हुए यूपी सरकार द्वारा कोरोना की रोकथाम के लिए प्रदेश में निर्धारित लक्ष्‍य के तहत आरटीपीसीआर और परिक्षण कराए जाने के निर्देश दिए हैं।

उन्होने कहा कि ग्रुप टेस्‍टिंग के तहत हर जिले में 30 प्रतिशत आरटीपीसीआर और 50 प्रतिशत रोजाना एंटीजन टेस्‍ट इन ग्रुप से कलेक्‍ट करने के निर्देश जारी किए गए हैं। ग्रुप टेस्टिंग में 29 अक्‍टूबर को टैंपो, थ्री व्‍हीलर और रिक्‍शा चालकों की जांच की जाएगी वहीं 30 को मेहंदी आर्टिस्‍ट व ब्‍यूटी पार्लर, 31 को मिठाई की दुकान, एक नवंबर को रेस्‍त्रां, 2 नवंबर को धार्मिक स्‍थानों, 3 नवंबर को मॉल्‍स में कार्यरत सुरक्षागार्ड, चार नवंबर को इलेक्‍ट्रानिक दुकानों व शोरूम, 5 नवंबर को स्‍ट्रीट वेंडर्स, 6 नवंबर को पटाखा मार्केट व फल-सब्‍जी वेंडर्स, 7 नवंबर को धार्मिक स्‍थानों, 8 नवंबर को मिठाई की दुकानों, 9 नवंबर को स्‍ट्रीट वेंडर्स (मूर्ति, गिफ्ट, दिया वेंडर्स), 10 नवंबर को पटाखा मार्केट व फल सब्‍जी वेंडर्स, 11 नवंबर को मॉल्‍स में कार्यरत सुरक्षागार्ड और 12 नवंबर को इलेक्‍ट्रानिक दुकानों व शोरूम पर ग्रुप टेस्‍टिंग की जाएगी।

बालगृहों, नारी निकेतन में होगी नियमित तौर जांच की जायेगी। इसके साथ ही प्रशासन, पुलिस व सिविल सोसायटी को निर्देशित किया गया है कि वो कोविड की रोकथाम के लिये जारी गाइडलाइन जैसे मास्‍क, हाथ धोने व सामाजिक दूरी का पालन करवाएं और लोगों को ज्‍यादा से ज्‍यादा जागरूक करें।

उन्‍होंने कहा कि प्रदेश के हर एक घर तक कोरोना से बचाव और सर्दी में अधिक सावधानी बरतने के संदेश को प्रचारित किया जाए। कोविड टीकाकरण के लिए सरकारी और गैर सरकारी स्‍वास्‍थ्‍य कर्मियों की सूची को तैयार किया जाए। स्‍वास्‍थ्‍य कर्मियों को दुबारा प्रशिक्षित किया जाए जिससे वो नई जानकारी प्राप्‍त कर सकें।

अमित मोहन प्रसाद ने कहा कि यूपी के सभी अस्‍पतालों में कोविड के बेड पर्याप्‍त संख्‍या में हैं। पर्याप्त संख्‍या में जांच कराई जाए। अधिक जांच होने से मामलों की संख्‍या में इजाफा होगा लेकिन जाड़े के मौसम में यही प्रयास संभावित मामलों में उछाल को रोकने में कारगर साबित होगा। उन्‍होंने कहा कि हमारी स्‍वास्‍थ्‍य व्‍यवस्‍था पर दबाव नहीं पड़ेगा क्‍योंकि प्रदेश में पर्याप्‍त मात्रा में सुविधाएं हैं। ये प्रयास मृत्‍यु दर को नीचे लाने में भी मदद करेगा।

उन्होने बताया कि होम आइसोलशन के सभी रोगियों की निगरानी की जाए। रोगियों के संपर्क में आने वाले सभी लोगों को आइवरमेक्‍टिन मुहैय्या कराने और रागियों के घरों में पहले, चौथ और सातवें दिन होम विजिट करने के निर्देश दिए गए हैं। यूपी में कोविड से होने वाली मौतों की गहराई से जांच की जाए जिससे सीख लेकर भविष्‍य में होने वाली मृत्‍यु पर लगाम लगाई जा सके। इस बात को सुनिश्‍चित किया जाए कि होम आइसोलशन के दौरान रोगियों की मृत्‍यु न हो और लक्ष्‍ण आते ही रोगियों को अस्‍पताल में तुरंत भर्ती कराया जाए।

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