CM त्रिवेंद्र की सरकार में सम्मानित हुई देवियां

भाजपा सरकार ने सायरा बानों को राज्य महिला आयोग की वरिष्ठ उपाध्यक्ष बनाया है इसी प्रकार दो अन्य महिलाओं को भी महिला आयोग की उपाध्यक्ष बनाया गया है।

Update: 2020-10-25 05:22 GMT

देहरादून। परम पावन शारदीय नवरात्र का समय है। भारत के घर-घर में शक्ति की आराधना की जाती है। माता दुर्गा को नारी शक्ति का प्रतीक माना जाता है। उत्तराखण्ड को देव प्रदेश कहा जाता है। यहां पर पूर्णागिरि आदिशक्ति के अलावा भी हजारों देवी मंदिर हैं। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत ने नवरात्र के दिनों में देवियों को सम्मानित करके शक्ति उपासना का भाव प्रदर्शित किया है। राज्य में तीन तलाक जैसे मामले में सुप्रीम कोर्ट तक लड़ाई लड़ने वाली सायरा बानों उत्तराखण्ड के काशीपुर की रहने वाली हैं। सायरा बानों उत्तराखण्ड के काशीपुर की रहने वाली हैं। सायरा बानों को त्रिवेन्द्र सिंह रावत की सरकार ने दर्जा प्राप्त राज्यमंत्री बना दिया है। उन्होंने मुस्लिम महिलाओं के हित में  जोखिम भरी लड़ाई लड़ी है। इसलिए उत्तराखण्ड की भाजपा सरकार ने सायरा बानों को राज्य महिला आयोग की वरिष्ठ उपाध्यक्ष बनाया है। इसी प्रकार दो अन्य महिलाओं को भी महिला आयोग की उपाध्यक्ष बनाया गया है।

सड़क से सुप्रीम कोर्ट तक तीन तलाक का मामला उठाने वाली काशीपुर निवासी सायराबानो उत्तराखंड सरकार में दर्जा प्राप्त राज्यमंत्री बन गई हैं। सायरा बानो को राज्यमंत्री का स्तर देते हुए महिला आयोग में उपाध्यक्ष (प्रथम), का दायित्व सौंपा गया है। सायरा बानो ने इसी दस अक्टूबर को प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत की मौजूदगी में बीजेपी की सदस्यता ली थी। उनके अलावा रानीखेत निवासी ज्योति शाह को महिला आयोग में उपाध्यक्ष (द्वितीय) का दायित्व दिया गया है और चमोली की पुष्पा पासवान को महिला आयोग में उपाध्यक्ष (तृतीय) बनाया गया है। सायरा बानों प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से बहुत प्रभावित हैं। उत्तराखण्ड में भाजपा कार्यकर्ताओं से लेकर राजनीतिक पर्यवेक्षक तक मंत्रिमंडल विस्तार का इंतजार कर रहे हैं और इस दौरान कयासों का बाजार गर्म है। मुख्यमंत्री भी कह चुके हैं कि नवरात्र के बाद ही नहीं इस दौरान भी मंत्रिमंडल विस्तार हो सकता है लेकिन 20 अक्टूबर का फैसला अप्रत्याशित रहा। अचानक राज्य की तीन महिलाओं को राज्यमंत्री का दर्जा देकर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सबको चौंका दिया। नवरात्र में नारी शक्ति का सम्मान के रूप में इसे देखा जा रहा है।

मोदी सरकार के बहुचर्चित्तीन तलाक के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट तक संघर्ष करने और फिर जीतने वाली काशीपुर निवासी सायरा बानो को महिला आयोग में उपाध्यक्ष (प्रथम) बनाकर मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने अल्पसंख्यक समुदाय और मुस्लिम महिलाओं को साधने की कोशिश की है। सायरा बानो ने इसी 10 अक्टूबर को साक्षात्कार एक इंटरव्यू में कहा था कि वह प्रधामनंत्री मोदी से प्रभावित हैं। उन्होंने (पीएम मोदी ने) जिस तरह से तीन तलाक की परंपरा से मुस्लिम महिलाओं को मुक्ति दिलाई उससे वह बेहद प्रभावित हैं। सायरा बानो ने कहा था कि वह बीजेपी के लिए काम करना चाहती हैं। मुस्लिम समाज में पार्टी को लेकर जो धारणा बनी है, वह उसे तोड़ने का काम करेंगी। बिहार में विधानसभा चुनाव से ठीक पहले सायरा बानों का मामला सियासत में चर्चा का विषय है।

महिला आयोग में उपाध्यक्ष (द्वितीय) बनीं रानीखेत निवासी ज्योति शाह भाजपा में महिला मोर्चा में कई पदों पर रह चुकी हैं। वह अभी पार्टी की प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य हैं। गोपेश्वर से विधायक प्रतिनिधि पुष्पा पासवान महिला आयोग में उपाध्यक्ष (तृतीय) बनी हैं। वह पार्टी के बैनर पर गोपेश्वर नगर पालिका अध्यक्ष का चुनाव भी लड़ी थीं, लेकिन हार गई थीं। महिला आयेाग में उपाध्यक्ष के ये तीनों पद लंबे समय से खाली चल रहे थे।

खास बात यह है कि तीनों महिलाओं को यह पद सौंपने के लिए मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने नवरात्र का समय चुना। दायित्व मिलने के बाद खुशी से लबरेज सायरा बानो ने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत का धन्यवाद किया। उन्होंने कहा कि इससे उनका आत्मविश्वास और भी बढ़ गया है। (मोहिता स्वामी-हिन्दुस्तान समाचार फीचर सेवा)

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