कोविड पर योगी का बेहतर फैसला
जरूरी सेवाओं को छोड़कर किसी को भी बाहर निकलने की अनुमति नहीं होगी। इस दिन प्रदेश की प्रमुख जगहों को सैनेटाइज करने का काम किया जाएगा।
लखनऊ। पिछले साल जब इन्हीं दिनों कोविड- 19 से हम संघर्ष कर रहे थे, तब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पूरी तरह से कमान संभाले हुए थे। इस बार राज्यों को पूरी स्वतंत्रता मिली हुई है कि वे कोई भी व्यवस्था कर सकते हैं जिससे कोरोना संक्रमण को रोका जा सके। उत्तर प्रदेश में कोरोना के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए 16 अप्रैल को एक अहम फैसला लिया गया है। अब पूरे प्रदेश में रविवार को लॉकडाउन रहेगा। जरूरी सेवाओं को छोड़कर किसी को भी बाहर निकलने की अनुमति नहीं होगी। इस दिन प्रदेश की प्रमुख जगहों को सैनेटाइज करने का काम किया जाएगा। इसके साथ ही अगर आप मास्क नहीं पहनते है तो आप पर 1000 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा और अगर आप दोबारा बिना मास्क के पकड़े गए तो आपको 10,000 रुपये का जुर्माना देना होगा।
इससे पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए सभी मंडलायुक्तों, जिलाधिकारियों, सीएमओ और टीम-11 के सदस्यों साथ समीक्षा बैठक कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए। उन्होंने निर्देश दिया कि लखनऊ में 1000 बेड का नया कोविड हॉस्पिटल स्थापित किया जाए। डिफेंस एक्सपो आयोजन स्थल इसके लिए बेहतर स्थान हो सकता है। इस संबंध में आवश्यक कार्रवाई तत्काल सुनिश्चित की जाए। इस प्रकार प्रदेश के सभी ग्रामीण और नगरीय क्षेत्रों में रविवार को साप्ताहिक बन्दी होगी। इस अवधि में केवल स्वच्छता, सैनिटाइजेशन और आपातकालीन सेवाएं ही संचालित होंगी। इससे कोरोना संक्रमण को नियंत्रण में लाया जा सकेगा। मुख्यमंत्री योगी ने अधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि वे सुनिश्चित करें ताकि कोविड टेस्ट के लिए सरकारी और निजी प्रयोगशालाएं पूरी क्षमता के साथ कार्य करें। इस कार्य में किसी प्रकार की लापरवाही स्वीकार्य नहीं है। कोविड टेस्टिंग के लिए शासन स्तर पर दरें भी तय की जा चुकी हैं। जिला प्रशासन क्वालिटी कंट्रोल के साथ इन व्यवस्थाओं को लागू किया जाना सुनिश्चित करें। इसके साथ ही सीएम ने कहा कि होम आइसोलेशन में निवासरत लोगों की सुविधाओं और जरूरतों का पूरा ध्यान रखा जाए। ऐसे मरीजों को सभी प्रकार की आवश्यक दवाओं को समाहित करते हुए मेडिकल किट उपलब्ध कराई जाए। मेडिकल किट में न्यूनतम एक सप्ताह की दवा जरूर हो। दवाओं की कहीं कोई कमी नहीं है। इस कार्य की हर दिन समीक्षा की जाए।
मुख्यमंत्री ने निर्देशित किया है कि इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर में प्रतिदिन डीएम, पुलिस कप्तान और सीएमओ नियत समय पर बैठक करें। स्थानीय स्थिति की समीक्षा कर आगे की रणनीति तय करें। अस्पताल में इलाजरत तथा होम आइसोलेशन में रह रहे लोगों की जरूरतों और समस्याओं का पूरा ध्यान रखें। सीएम हेल्पलाइन 1076 के माध्यम से मरीजों से लगातार संवाद बनाए रखा जाए। हर दिन की स्थिति से मुख्यमंत्री कार्यालय को अवगत कराया जाए।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इस प्रकार की व्यवस्था तब कर रहे हैं, जब वे स्वयं कोरोना पाजिटिव हैं। होम क्वारंटाइन होते हुए योगी आदित्य नाथ वर्चुअल दिशा निर्देश जारी कर रहे हैं और मानीटरिंग भी कर रहे हैं। सप्ताह में एक दिन का पूरी तरह लाॅकडाउन कोरोना संक्रमण की चेन तोड़ने में मददगार हो सकता है। उसी दिन सभी जगह सैनिटाइजेशन भी किया जाएगा। मास्क लगाना सबसे ज्यादा कारगर माना जा रहा है। हालांकि मास्क को लेकर भी तरह तरह की बातें की जा रही हैं। मास्क तीन लेयर का बेहतर है लेकिन कैसा भी मास्क लगाकर लोग बाहर निकलें और कार्य स्थल पर डिस्टेन्सिंग रखते हुए मास्क भी लगाये रहें तो संक्रमण से काफी बचाव हो सकता है। एक हेल्थ जर्नल में तो यहां तक कहा गया है कि कोरोना का संक्रमण हवा के माध्यम से भी होने लगा है। इसलिए मास्क ही बचाव का सबसे सुगम रास्ता है। योगी की सरकार ने इसलिए मास्क को लेकर सख्त नियम बनाया है। इसकी जिम्मेदारी मुख्य रूप से पुलिस को सौंपी गयी है। कोरोना से नगर निगम भी फ्रन्ट लाइन पर लड़ रहा है। नगर निगम कर्मचारियों को भी मास्क लगवाने और सोशल डिस्टेंसिंग बनवाने का दायित्व सौंपा गया है। कोरोना गाइड लाइन्स को नजरंदाज करने में हमने कोई कमी नहीं छोडी थी। इसलिए उसका भी खामियाजा भुगतना पड रहा है।
कोरोना की बेलगाम रफ्तार नए मामलों के मामले में सारे रिकॉर्ड तोड़ती जा रही है। देश के सर्वाधिक प्रभावित राज्य महाराष्ट्र में 16 अप्रैल को 24 घंटों में 63,729 नए मामले सामने आए थे। वहीं, 398 लोगों की मौत हुई। दिल्ली राज्य में कुल 8,03,623 मामले सामने आ चुके थे। एक्टिव केस की संख्या 61,005 हो गयी थी। एक टॉप वायरोलॉजिस्ट के मुताबिक देश को अभी कोरोना की दूसरी लहर से राहत मिलने में वक्त लगेगा।
उत्तर प्रदेश में भी कोरोना बेकाबू हो गया है। हालात दिन पर दिन खराब होते जा रहे हैं। कोरोना के नए केस हर रोज बढ़ रहे हैं। पिछले 24 घंटों की बात की जाए तो राज्य में 27,426 नए कोरोना संक्रमित मामले सामने आए हैं जबकि 103 लोगों की मौत हो चुकी है। स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव अमित मोहन प्रसाद के अनुसार 16 अप्रैल को ही राजधानी लखनऊ में कोरोना के 6598 नए केस सामने आए जबकि 35 लोगों की मौत हुई । इसी प्रकार प्रयागराज में 1758, वाराणसी में 2344 और कानपुर में 1403 नए कोविड केस मिले थे। इसलिए इलाज की अतिरिक्त व्यवस्था करनी ही थी। मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ ने कहा है कि लखनऊ में डिफेंस एक्सपो आयोजन स्थल पर डीआरडीओ के सहयोग से अति शीघ्र सभी सुविधाओं से लैस 1000 बेड का नया कोविड हॉस्पिटल बनाया जाएगा। इसके क्रियाशील होने के साथ ही लखनऊ में कोविड मरीजों के लिए 5000 अतिरिक्त बेड उपलब्ध हो जाएंगे। अपर मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने बताया कि प्रदेश में एक दिन में 2 लाख 06 हजार 517 कोरोना सैम्पल की जांच की गई।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में कोरोना के 1,29,848 सक्रिय मामलों में से 66,528 मरीज होम आइसोलेशन में हैं। निजी चिकित्सालयों में 2012 लोग तथा शेष मरीज सरकारी चिकित्सालयों में इलाज करा रहे हैं। इसके अलावा प्रदेश में बीते 24 घंटे में 4,222 तथा अब तक 6,27,032 लोग कोविड-19 से ठीक होकर डिस्चार्ज हो चुके हैं। लखनऊ के केजीएमयू और बलरामपुर हॉस्पिटल डेडिकेटेड कोविड हॉस्पिटल के रूप में परिवर्तित कर दिया गया है। स्वास्थ्य मंत्री एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री इस महत्वपूर्ण कार्य की मॉनीटरिंग करेंगे। इन दो नए डेडिकेटेड कोविड हॉस्पिटल के संचालन से लखनऊ में लगभग 4000 बेड का विस्तार होगा। दोनों मंत्रीगण यह सुनिश्चित करेंगे कि इन अस्पतालों में कोविड मरीजों के इलाज से जुड़े सभी आवश्यक चिकित्सा प्रबंध उपलब्ध हो जाएं।
जिस रफ्तार से इस महामारी में बढ़ोतरी हो रही है, वह वाकई में डराने वाली है। वायरसों पर काम करने वाले डॉ. जमील कहते हैं कि अगर आप एक्टिव केस ग्रोथ की तरफ देखें तो ये तकरीबन हर दिन 7 प्रतिशत से बढ़ रही है। ये प्रतिशत बहुत ज्यादा है। अगर यही रफ्तार रही तो हम हर दिन तीन लाख की संख्या तक पहुंच सकते हैं। इसलिए बात घूम फिरकर मास्क और यथासंभव लाॅकडाउन पर ही आ जाती है। योगी ने वही किया है। (हिफी)