श्रीराम मंदिर भूमि पूजन के ऐतिहासिक क्षण का सीधा प्रसारण चाहता है विश्व हिन्दू परिषद

श्रीराम मंदिर भूमि पूजन के कार्यक्रम के लिए पांच अगस्त को पीएम नरेंद्र मोदी अयोध्या आएंगे।

Update: 2020-07-20 13:32 GMT

अयोध्या रामलला की नगरी अयोध्या में पांच अगस्त को होने वाले श्रीराम मंदिर के भूमि पूजन के अवसर का सीधा प्रसारण कराने की मांग विश्व हिंदू परिषद (विहिप) ने की है। विश्व हिंदू परिषद ने कहा है कि पांच अगस्त को सदियों पुरानी इच्छा पूर्ण होने वाली है, इसलिए देश-विदेश के भक्त इस ऐतिहासिक अवसर के साक्ष्य बनना चाहते हैं। इसके लिए लाइव प्रसारण का प्रबंधन होना आवश्यक है। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ ट्रस्ट के आमंत्रण पर श्रीराम मंदिर भूमि पूजन के कार्यक्रम के लिए पांच अगस्त को पीएम नरेंद्र मोदी अयोध्या आएंगे।

सूत्रों के मुताबिक कहना है कि श्रीराम मंदिर भूमि पूजन के अवसर पर गृहमंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, वरिष्ठ भाजपा नेता और राम मंदिर आंदोलन के समयकाल से जुड़े रहे लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी भी भूमि पूजन कार्यक्रम में पहुंच सकते हैं। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने भूमि पूजन के अवसर पर आमंत्रित करने के लिए देश की प्रमुख हस्तियों की लिस्ट तैयार कर रहा है। खबरों के अनुसार राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संचालक मोहन भागवत भी भूमि पूजन कार्यक्रम में उपस्थित हो सकते हैं।

विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के राष्ट्रीय प्रवक्ता विनोद बंसल ने वार्ता में कहा कि, राम मंदिर से करोड़ों श्रद्धालुओं की आकांक्षाएं जुड़ीं हैं। राम मंदिर आंदोलन में 16 करोड़ लोग भाग ले चुके हैं। ऐसे में राम मंदिर भूमि पूजन का समारोह, सदियों से संजोकर रखें एक सपने का पूर्ण होना जैसा है। कोरोना महामारी के संकट में सभी अयोध्या नहीं पहुंच पाएंगे। ऐसे में लाइव प्रसारण होने से भारत ही नहीं दुनिया के राम भक्त भूमि पूजन कार्यक्रम का वर्चुअल हिस्सा बन सकेंगे। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को भूमि पूजन के लाइव प्रसारण का प्रबंध करना चाहिए।

श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने पीएम नरेंद्र मोदी की उपस्थिति के लिए पीएमओ को भूमि पूजन कार्यक्रम के लिए तीन और पांच अगस्त की तारीख प्रस्तावित की थी। सूत्रों के अनुसार पीएम नरेंद्र मोदी ने पांच अगस्त को दिन में 11 से डेढ़ बजे के बीच का समय निर्धारित किया है, खबर के मुताबिक पीएम नरेंद्र मोदी के अयोध्या पहुंचने से पहले श्रीराम मंदिर भूमि पूजन कार्यक्रम की तैयारियां पूर्ण की जाएगी फिर पीएम नरेंद्र मोदी की उपस्थिति में पूरे विधि-विधान से श्रीराम मंदिर भूमि पूजन कार्यक्रम प्रारंभ होगा। अखिल भारतीय संत समिति ने इस क्षण को ऐतिहासिक और आनंदमय अवसर बताया है। अखिल भारतीय संत समिति के राष्ट्रीय महामंत्री स्वामी जीतेंद्रानंद सरस्वती ने इसकी पुष्टि की।

अखिल भारतीय संत समिति के राष्ट्रीय महामंत्री स्वामी जीतेंद्रानंद सरस्वती ने कहा कि तीन से साढ़े तीन वर्ष में मक्का और वेटिकन से भी भव्य श्रीराम मंदिर का निर्माण कार्य पूर्ण होगा। यह अवसर केवल संत समाज ही नहीं पूरे विश्व के सनातन समाज के लिए गौरव का क्षण होने वाला है कि 1528 में बाबर और उसके सेनापतियों द्वारा अयोध्या स्थित रामलला की जन्मभूमि पर बने भव्य मंदिर को तोड़ दिया गया था। यह एक गौरवपूर्ण क्षण होगा जब हम अयोध्या में राम जन्मभूमि पर श्रीराम मंदिर का पूजन होते हुए देखेंगे। उन्होंने कहा कि 492 वर्षों का संघर्ष, 800 संघर्ष, न्यायालय में 1949 से लंबित मुकदमों की सुनवाई होते-होते आज हिन्दु समाज के लिए यह गौरवशाली क्षण आ ही गया जब हम इन्हीं आंखों, इन्हीं शरीर से भगवान रामलला की जन्मभूमि पर अपने यशस्वी पीएम श्रीमान नरेंद्र मोदी जी के द्वारा श्री राम मंदिर का भूमि पूजन होते हुए देखेंगे।

स्वामी जीतेंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि 5 अगस्त की तिथि एक और विषय में ऐतिहासिक अवसर है। पांच अगस्त के दिन ही बीते वर्ष गृह मंत्री अमित शाह ने गरज करके जम्मू-कश्मीर के कलंक धारा 370 को हटाने के महत्वपूर्ण कदम की घोषणा की थी। और जम्मू-कश्मीर को दो केंद्रशासित प्रदेशों में विभक्त होकर, धारा 370 समाप्ति से कश्मीर के नागरिकों के लिए स्वाभिमान से जीने का मौका मिल गया था। जिसके बाद सही मायने में हम कह पाए थे कि कश्मीर भारतीय संविधान के अनुसार भारत का एक अभिन्न अंग है। और 5 अगस्त की तिथि को श्रीराम मंदिर का भूमि पूजन कार्यक्रम और कश्मीर से धारा 370 हटाने की प्रथम वर्षगांठ, 5 अगस्त हर औचित्य से देश के लिए ऐतिहासिक और आनंदमय अवसर होने वाला है।

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