ट्रेन हुई 5 घंटे लेट- अब यात्रियों को देना पड़ेगा इतना हर्जाना
कोहरे के कोहराम के बीच अपना सितम ढा रही सर्दी की मार से देश की पहली कारपोरेट ट्रेन भी नहीं बच पाई है।
कानपुर। कोहरे के कोहराम के बीच अपना सितम ढा रही सर्दी की मार से देश की पहली कारपोरेट ट्रेन भी नहीं बच पाई है। तकरीबन 5 घंटे की देरी से चलने की वजह से तेजस एक्सप्रेस के 956 यात्रियों को अब संचालन कर रही कंपनी की ओर से मुआवजा देना पड़ेगा।
दरअसल जनवरी महीने की ठंड अब लोगों के सिर पर चढ़कर बोल रही है। देश की पहली कारपोरेट ट्रेन तेजस एक्सप्रेस भी ठंड के सितम और कोहरे की मार से नहीं बच सकी है। रेलगाड़ी जब 5 घंटे की देरी से सेंट्रल स्टेशन पर पहुंची तो लोगों को परेशान हाल में अपने गंतव्य पहुंचना पड़ा। सेंट्रल स्टेशन पर आने वाली ट्रेनों के 956 यात्रियों को अब 250 रूपये की दर से कंपनी की ओर से मुआवजा दिया जाएगा। क्योकि एक घंटा लेट होने पर यात्रियों को 100 रूपये और 2 घंटे की देरी या उससे अधिक के विलंब पर 250 रूपये प्रति यात्री हर्जाना देने का नियम है। उधर लखनऊ से दिल्ली जाने वाली तेजस एक्सप्रेस शनिवार को 5.15 घंटे और नई दिल्ली से लखनऊ वाया कानपुर जाने वाली तेजस एक्सप्रेस 4.30 घंटे की देरी से चली। यह पहला अवसर था जब तेजस रेलगाड़ी तकरीबन 5 घंटे तक लेट हुई है।