मुकदमे से नाम हटाने की एवज में 70000 वसूलने वाला दीवानजी अरेस्ट
इसी बीच मुकदमे से नाम निकलवाने के सिलसिले में आरोपी साजमन ने सीओ के पेशकार रहे हेड कांस्टेबल रामसोच से संपर्क किया।
आजमगढ़। आपसी मारपीट के सिलसिले में दर्ज मुकदमे से नाम हटाने की एवज में 70000 की घूंस लेने वाले हेड कांस्टेबल को पुलिस द्वारा गिरफ्तार कर लिया गया है। रिश्वतखोर दीवान जी के खिलाफ हुई गिरफ्तारी की इस कार्रवाई के बाद विभागीय अफसरों एवं कर्मचारियों में हड़कंप मचा हुआ है। दरअसल गंभीरपुर थाना क्षेत्र के हरिशचंद्रपुर गांव में इसी साल के मई महीने में दो पक्षों के बीच मारपीट की वारदात हो गई थी। मारपीट की इस घटना के सिलसिले में वादी की ओर से वीरेंद्र यादव, महेंद्र यादव, साजमन, प्रीति, पंकज और राजकुमार के खिलाफ नामजद मुकदमा दर्ज कराया गया था।
इस मुकदमे की विवेचना तत्कालीन सीओ सदर सौम्या सिंह द्वारा की जा रही थी। इसी बीच मुकदमे से नाम निकलवाने के सिलसिले में आरोपी साजमन ने सीओ के पेशकार रहे हेड कांस्टेबल रामसोच से संपर्क किया। बातचीत के बाद दोनों के बीच नाम निकालने का सौदा 70000 हजार रूपये में पट गया।
साजमन की मां लक्ष्मी ने हेड कांस्टेबल को 70000 रुपए दे दिए थे। लेकिन रुपए लेने के बाद भी साजमन का नाम मुकदमे से नहीं निकाला गया और 82 की कार्यवाही के लिए उसके मकान पर नोटिस भी चस्पा हो गया। साजमन की मां ने जब सीओ के पेशकार से इस बारे में बात की तो उसने अदालत में हाजिर हो जाने की सलाह दी। ठगी के शिकार साजमन की मां की ओर से पुलिस अधीक्षक को शिकायती पत्र देकर हेड कांस्टेबल के खिलाफ कार्यवाही की मांग की गई। पुलिस अधीक्षक ने इस मामले की जांच एसपी ट्रैफिक को सौंप दी। की गई जांच में आरोप की पुष्टि होने पर हेड कांस्टेबल के खिलाफ शहर कोतवाली में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के अंतर्गत मुकदमा दर्ज किया और बाद में गिरफ्तार किये गये दीवान के खिलाफ चालानी कार्यवाही कर उसे जेल भेज दिया।