किसान आंदोलन-ट्रैक्टरों के साथ राजभवन के घेराव के लिए निकले हैं किसान
संयुक्त किसान संघर्ष समिति के आह्वान पर किसान राजभवन के घेराव के लिए राजधानी के लिए निकल पड़े हैं।
लखनऊ। संयुक्त किसान संघर्ष समिति के आह्वान पर किसान राजभवन के घेराव के लिए राजधानी के लिए निकल पड़े हैं। गांव बनी के पास बल्ली लगाकर पुलिस ने किसानों की ट्रैक्टर ट्रॉलियों को रोक दिया है। पुलिस समझा-बुझाकर किसानों को वापस भेजने में जुटी है। जबकि किसान अपनी मांग पर अड़े रहकर राजधानी जाने के प्रयास कर रहे हैं।
देश की राजधानी दिल्ली में कृषि कानूनों को वापस लिए जाने की मांग को लेकर बॉर्डरों पर आंदोलन कर रहे किसानों की संयुक्त किसान संघर्ष समिति ने शनिवार को लखनऊ के राजभवन के घेराव का आह्वान किया था। जिसके चलते शुक्रवार को ही किसान अपनी ट्रैक्टर ट्राॅलियों के साथ राजधानी के लिए निकल पड़े थे। पुलिस ने मामले की जानकारी मिलते ही गांव बनी के पास बल्लियां लगाकर रास्ता अवरूद्ध करते हुए किसानों की ट्रैक्टर ट्रॉलियो को रोक दिया। लखनऊ-उन्नाव सीमा पर अवध एवं पूर्वांचल के जिलों से आ रहे किसानों को रोकने के लिए पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। इसके बावजूद शुक्रवार की रात तक लगभग 300 से भी अधिक ट्रैक्टर ट्रॉलियो के साथ किसान सुल्तानपुर रोड पर गांव कासिमपुर बिरहुआ पहुंच गए थे।
भाकियू के मंडल अध्यक्ष हरिनाम सिंह वर्मा ने आरोप लगाया है कि अवध एवं पूर्वांचल के जनपदों से आ रहे किसानों को पुलिस द्वारा लखनऊ आने से रोका जा रहा है। किसानों को डराने-धमकाने के लिए नोटिस जारी किए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि अलग-अलग स्थानों पर पुलिस ने 300 से भी अधिक ट्रैक्टर-ट्रॉलियों को रोक रखा है। किसानों ने भी अपनी ट्रैक्टर-ट्रॉली वही पर खड़ी कर दी हैं। किसानों के ट्रैक्टर ट्रॉलियों के साथ आने का सिलसिला लगातार जारी है भाकियू के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष राजेश सिंह चैहान के नेतृत्व में हजारों ट्रैक्टरों के साथ किसान गोसाईगंज के कबीरपुर गांव से राज्यपाल को ज्ञापन देने के लिए राजभवन जाएंगे। उधर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किसानों के आंदोलन के मद्देनजर प्रदेश में कानून व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने शुक्रवार की रात वीडियो कांफ्रेंसिंग कर सभी जिलों व दोनों कमिश्नरेट के अफसरों से मामले को लेकर स्थिति की जानकारी और सुरक्षा बंदोबस्त सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए।