भारतीय वायुसेना के बेड़े में शामिल हुआ राफेल

फ्रांस की रक्षामंत्री फ्लोरेंस पार्ली भी इस समारोह की शान बनीं। भारत को कुल 36 राफेल मिलने हैं। इनमें पांच विमान अगले महीने अर्थात् अक्टूबर में आएंगे।

Update: 2020-09-10 12:57 GMT

लखनऊ। भारतीय वायुसेना के लिए 10 सितम्बर का दिन यादगार बन गया जब आकाश में राफेल दिखाई पड़े। सुखोई और तेजस विमानों के साथ वायुसेना की शान राफेल ने अम्बाला के एयरबेस पर उड़ान भरी। राफेल आज के ही दिन से वायुसेना में शामिल हो गया है। फ्रांस से राफेल विमानों की पहली खेप जुलाई 2020 में भारत को प्राप्त हुई है। सर्वधर्म पूजा के साथ राफेल को भारतीय वायुसेना में शामिल किया गया है। आसमान में भारत की ताकत आज कई गुना ज्यादा बढ़ गयी। पांच राफेल विमान वायुसेना के बेड़े में अभी शामिल हुए हैं। इस अवसर पर फ्लाई पास्ट हुआ जिसमें सुखोई विमान ने सबसे पहले करतब दिखाये। स्वर्णिम अवसर पर रक्षामंत्री राजनाथ सिंह भी मौजूद थे। इस अवसर पर तेजस ने भी अपनी गर्जना से आकाश गुंजा दिया। फ्रांस की रक्षामंत्री फ्लोरेंस पार्ली भी इस समारोह की शान बनीं। भारत को कुल 36 राफेल मिलने हैं। इनमें पांच विमान अगले महीने अर्थात् अक्टूबर में आएंगे।

फ्रांस से आए पांच राफेल लड़ाकू विमान आज औपचारिक रूप से भारतीय वायुसेना में शामिल हो गए हैं। अंबाला एयरबेस पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की मौजूदगी में इन्हें शामिल किया गया। इस दौरान वायुसेना की प्रक्रिया के तहत सभी धर्मों के गुरुओं ने यहां पर पूजा की और विधिवत रूप से राफेल को शामिल किया गया। इस दौरान धर्मगुरुओं ने शांति की दुआ मांगी, साथ ही देश के जवानों की सलामती की प्रार्थना की। पूजा की शुरुआत सबसे पहले हिन्दू धर्म के गुरु ने की, जिन्होंने मंत्रोच्चार के साथ प्रक्रिया को आगे बढ़ाया। इसके बाद मुस्लिम धर्मगुरु ने अपनी बात की, यहां दुआ करते हुए उन्होंने कहा कि अल्लाह, हिन्दुस्तान के जवानों को ताकत दे। जवानों के अंदर इतनी शक्ति आए कि दुश्मनों के छक्के छूट जाएं।

मुस्लिम धर्मगुरु ने कहा कि हमारी हुकूमत ने जो राफेल लिया है, उससे दुश्मन हिंदुस्तान की ताकत को जाने। अल्लाह, हमारे प्रधानमंत्री और रक्षा मंत्री को ताकत दे। हमारे जवानों में वीर अब्दुल हमीद जैसा हौसला दे। साथ ही सिख धर्मगुरु ने वायुसेना की सफलता के लिए अरदास कराई और वायुसेना की ताकत बढ़ाने की दुआ मांगी। अरदास के अंत में सिख धर्मगुरु ने 'जो बोले सो निहाल' का जयकारा भी लगवाया।

अंत में ईसाई धर्मगुरु ने बाइबिल की कुछ पंक्तियां पढ़ीं और कहा कि हम सिर्फ भगवान की मर्जी से आगे बढ़ते हैं और उनके ही आदेशों पर आगे बढ़ते हैं। भगवान ही सर्वोपरि हैं। ईसाई धर्मगुरु ने अपनी प्रार्थना में कहा कि नए हथियारों के साथ सेना की ताकत बढ़े और देश की जीत हो।

आपको बता दें कि सेना में जब भी कोई नया हथियार, वाहन, लड़ाकू विमान या जहाज शामिल होता है, तो इसी तरह सर्वधर्म पूजा की जाती है। भारत को पांच राफेल लड़ाकू विमान मिल चुके हैं, जबकि पांच और विमान अगले महीने तक मिलेंगे। साल 2022 तक सभी 36 लड़ाकू विमान भारतीय वायुसेना में शामिल हो जाएंगे।

वायुसेना बेड़े में शामिल राफेल पर लगी गन एक मिनट में 2500 फायर करने में सक्षम है। राफेल में जितना तगड़ा रडार सिस्टम है, ये 100 किलोमीटर के दायरे में एकबार में एकसाथ 40 टारगेट की पहचान कर सकता है।

भारत को मिले राफेल लड़ाकू विमान करीब 24,500 किलोग्राम तक का भार उठाकर ले जाने के लिए सक्षम हैं, साथ ही 60 घंटे अतिरिक्त उड़ान की भी गारंटी है।

राफेल में अभी जो मिसाइलें लगी हैं, वो सीरिया, लीबिया जैसी जगहों में इस्तेमाल हो चुकी हैं। इसके अलावा जल्द ही स्पाईस 2000 को भी इसमें जोड़ा जाएगा।

भारतीय वायुसेना को अभी तक पांच राफेल लड़ाकू विमान मिले हैं, जबकि 2022 तक इनकी संख्या कुल 36 हो जाएगी। जिसे अलग-अलग एयरबेस पर तैनात किया जाएगा। राफेल लड़ाकू विमान अभी अंबाला एयरबेस पर तैनात हैं, जो चीन और पाकिस्तान सीमा के पास है। ऐसे में मौजूदा परिस्थितियों में ये बिल्कुल भारत के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है।

वाटर कैनेन से सलामी के बाद राफेल विमानों को वायुसेना के बेड़े में शामिल कर लिया गया है। इस ऐतिहासिक लम्हे का गवाह रक्षामंत्री राजनाथ सिंह और फ्रांसिसी रक्षा मंत्री फ्लोरेंस पार्ली बनीं। भारतीय वायुसेना के बेडे़ में राफेल विमानों के शामिल होने पर एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया ने कहा कि राफेल जहां भी और जब भी तैनात होगा, वह दुश्मनों पर भारी पड़ेगा।

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि राफेल का भारतीय वायुसेना के बेड़े में शामिल होना भारत और फ्रांस के बीच के प्रगाढ़ संबंधो को दर्शाता है। भारत और फ्रांस लंबे समय से आर्थिक, सांस्कृतिक और रणनीतिक साझेदार रहे हैं। मजबूत लोकतंत्र के प्रति हमारी आस्था और सम्पूर्ण विश्व में शांति की कामना, हमारे आपसी संबंधो के आधार हैं।

फ्रांस से कुछ वक्त पहले भारत पहुंचे पांच राफेल लड़ाकू विमान औपचारिक रूप से वायुसेना के बेड़े में शामिल हो गये। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, फ्रांस के रक्षा मंत्री समेत कई सेना के अधिकारी इस दौरान अंबाला एयरबेस पर मौजूद थे। फ्रांस से भारत को मिली राफेल लड़ाकू विमानों की ये पहली ही किस्त है, ऐसे में अभी भारत को कुल 36 राफेल विमान मिलने हैं। जुलाई के अंत में फ्रांस से भारत को कुल पांच राफेल लड़ाकू विमान मिले हैं। भारत सरकार और फ्रांस सरकार के बीच कुल 36 विमानों का गवर्नमेंट टू गवर्नमेंट सौदा हुआ है। बता दें कि ये कुल विमानों की सिर्फ पहली ही खेप है। दूसरी खेप में पांच और विमान भारत आएंगे, जो कि अक्टूबर तक भारत पहुंच सकते हैं।

यूं तो पहले पांच विमान भारत को पिछले साल अक्टूबर में ही मिल गए थे, लेकिन उसके बाद भारतीय वायुसेना के अधिकारियों ने इनको उड़ाने की ट्रेनिंग ली। जिसके कारण इतना लंबा वक्त लगा, इसी कारण जुलाई 2020 में ये भारत पहुंचे। अब दूसरी खेप के विमानों की ट्रेनिंग जारी है, जो अक्टूबर तक खत्म हो जाएगी। इन दस विमानों के मिलने के बाद भारतीय वायुसेना की स्थिति मजबूत हो जाएगी। हालांकि, बाकी विमानों के भी भारत पहुंचने की प्रक्रिया जारी रहेगी। लेकिन सभी 36 लड़ाकू विमान भारत को 2022 तक ही मिल पाएंगे। फ्रांस की कंपनी दसॉल्ट के साथ करीब 60 हजार करोड़ रुपये के सौदे में ये विमान मिल रहे हैं जो सितंबर 2022 तक पूरी तरह भारत में होंगे। इनमें कुछ ट्रेनर विमान भी हैं, यानी दो सीट वाले जबकि बाकी विमान सिंगल सीटर ही हैं। पहले काफी अड़चनों के कारण ये विमान भारत आ सका था, लेकिन मोदी सरकार की ओर से नई डील की गई थी। जिस पर भारत में काफी राजनीतिक हंगामा मचा था, यही कारण है कि राफेल लड़ाकू विमान काफी सुर्खियों में भी रहा। (हिफी) 

Tags:    

Similar News