600 करोड़ के घोटाले में कल तक शपथपत्र पेश करें सरकार- HC
घोटोले की जांच सीबीआई को सौंपी जाये या एसआईटी ही शेष जांच को पूरी करे।
नैनीताल। उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने लगभग 600 करोड़ रूपये के बहुचर्चित छात्रवृत्ति घोटाले में राज्य सरकार को मंगलवार तक शपथपत्र पेश करने को कहा है। इसके बाद उच्च न्यायालय को तय करना है कि घोटोले की जांच केन्द्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को सौंपी जाये या विशेष जांच दल (एसआईटी) ही शेष जांच को पूरी करे।
प्रदेश के अपर मुख्य सचिव की ओर से पिछले सप्ताह कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश रवि कुमार मलिमथ की अगुवाई वाली युगलपीठ को बताया गया कि छात्रवृत्ति घोटाले की 77 प्रतिशत जांच पूरी हो चुकी है, सिर्फ 23 प्रतिशत जांच शेष रह गयी है। सरकार ने शेष जांच को पूरी करने के लिये अदालत से छह माह की और मांग की।
सरकार की ओर से पेश जवाब पर आज कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश रवि कुमार मलिमथ व न्यायमूर्ति रवीन्द्र मैठाणी की युगलपीठ में सुनवाई हुई। अदालत ने मामले को सुनने के बाद सरकार को निर्देश दिया कि इस मामले में कल तक शपथपत्र पेश करे।
याचिकाकर्ता रवीन्द्र जुगरान एवं अन्य की ओर से 2018 में अलग-अलग याचिका दायर कर छात्रवृत्ति घोटाले को उजागर किया गया था। याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया कि अनुसूचित जाति-जनजाति के छात्रों के नाम पर करोड़ों रुपये का घोटाला किया गया है। सरकार एसआईटी जांच के नाम पर खानापूर्ति कर रही है।
इसके बाद उच्च न्यायालय की निगरानी में अलग से एसआईटी टीमों का गठन किया गया। एक टीम को हरिद्वार एवं देहरादून के मामलों की जांच सौंपी गयी जबकि शेष ग्यारह जनपदों के मामलों की जांच भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) अधिकारी संजय गुंज्याल वाली एसआईटी को सौंपा गयी है। अभी तक एसआईटी के रडार पर आये 24 आरोपी पकड़े जा चुके हैं जबकि माना जा रहा है कि देहरादून में कुछ बड़े नाम इसकी गिरफ्त में आ सकते हैं।