UP में पहली फोरेंसिक साइंस विश्वविद्यालय के लिए 20 करोड़ की धनराशि मंजूर
फोरेंसिक साइंस यूनिवर्सिटी के प्रयासों में और तेजी लाने के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्देश दिए
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में खुलने वाली पहली फोरेंसिक साइंस यूनिवर्सिटी के प्रयासों में और तेजी लाने के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्देश दिए हैं।
राज्य के गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव अवनीश कुमार अवस्थी की अध्यक्षता में आज यहां लोक भवन में इस संबंध में अब तक हुई कार्यवाही की गहन समीक्षा हुई। उन्होंने बताया कि प्रदेश की पहली फोरेंसिक साइंस यूनिवर्सिटी, लखनऊ में खोलने की दिशा में कार्यवाही चल रही है और मुख्यमंत्री योगी ने इस दिशा में किये जाने वाले प्रयासों में और अधिक तेजी लाये जाने के निर्देश
दिये हैं।
उल्लेखनीय है कि प्रदेश में फोरेंसिक साइंस, आचार विज्ञान, प्रोद्योगिकी और प्रबन्धन के क्षेत्र में अभिनव शिक्षा, प्रशिक्षण और अनुसंधान प्रदान करने के उद्देश्य में फोरेंसिक साईंस विश्वविद्यालय की स्थापना सम्बन्धी शासन के निर्णय के परिप्रेक्ष्य में कार्यवाही चल रही है। इसके निर्माण से आपराधिक मामलों की जाॅच, प्रबन्धन एवं संचालन में आवश्यक प्रोद्योगिकियों में विशेषज्ञता उत्पन्न होगी तथा प्रोद्योगिकीय सम्बन्धी कार्यों में दक्ष जनशक्ति भी प्राप्त हो सकेगी जिससे विवेचना की गुणवत्ता में भी वृद्वि होगी।
अपर मुख्य सचिव अवनीश कुमार अवस्थी ने समीक्षा बैठक में जानकारी दी कि लखनऊ जिले की तहसील सरोजनीनगर के ग्राम पीपरसण्ड में खुलने वाले इस फोरेंसिक साईंस विश्वविद्यालय के लिए कुलपति, कुल सचिव एवं वित्त अधिकारी के पदों का सृजन कर दिया गया है। साथ ही शासन द्वारा विश्वविद्यालय के निर्माण कार्यों के लिए 20 करोड़ रूपये की धनराशि भी मंजूर की जा चुकी है।
बैठक में जानकारी दी गई कि अपर पुलिस महानिदेशक, तकनीकी सेवाएं संदीप सालुंके को इस विश्वविद्यालय की स्थापना के लिए नोडल अधिकारी नामित किया गया है तथा अपर मुख्य सचिव अध्यक्षता में एक स्टेयरिंग कमेटी का भी गठन किया जा चुका है। इस स्टेयरिंग कमेटी के लिए दो फोरेसिंक विशेषज्ञ क्रमशः डा0 ए के बापुली, चीफ फोरेन्सिक साइंटिस्ट, डीएसएफ राॅची, झाॅरखण्ड एवं डा0 दीपा वर्मा, निदेशक, राज्य विधि विज्ञान प्रयोगशाला को नामित किया गया है जिसकी बैठक विगत 15 जुलाई को हो चुकी है।
अपर मुख्य सचिव अवनीश कुमार अवस्थी ने बताया कि इस विश्वविद्यालय की स्थापना के लिए डा0 ए पी जे अब्दुल कलाम, प्राविधिक विश्वविद्यालय, लखनऊ से भी सहयोग एंव सहकार्य के लिए एमओयू किये जाने की कार्यवाही जारी है। साथ ही साथ इस विश्वविद्यालय की स्थापना के लिए इजराइल देश से तकनीकी सहयोग प्राप्त करने के लिए कार्यवाही प्रचलित है। इसके अलावा गुजरात फोरेंसिक यूनिवर्सिटी गाॅधीनगर से भी एमओयू की कार्यवाही की जा रही है।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में विधि विज्ञान प्रयोगशालाओं का विस्तार कर उन्हे और अधिक सुदृढ़ एवं साधन सम्पन्न बनाये जाने की दिशा में भी प्रयास तेज किये गये है। गाजियाबाद, गोरखपुर, कन्नौज, प्रयागराज में ए श्रेणी तथा झाॅसी, अलीगढ़, गोण्डा, बरेली में बी श्रेणी की खुलने वाली क्षेत्रीय विधि विज्ञान प्रयोगशालाओं में अब तक हुये कार्यों की गहन समीक्षा की गयी तथा अवशेष कार्यों को समयबद्ध रूप से पूर्ण किये जाने के निर्देश दिये गये।
इसके अलावा अयोध्या, बांदा, बस्ती, आजमगढ़, मिर्जापुर, व सहारनपुर में खुलने वाली सी श्रेणी की नई क्षेत्रीय विधि विज्ञान प्रयोगशालाओं को मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार बी श्रेणी में उच्चीकृत किया गया है। इन सभी क्षेत्रीय प्रयोगशालाओं की शीघ्र स्थापना की दिशा मे चल रहे प्रयासों में अब तक हुई प्रगति की बैठक मे जानकारी ली गयी तथा उनमें और तेजी लाने के लिए आवश्यक निर्देश दिये गये।