डिप्टी सीएम पद को लेकर कोर्ट का बड़ा सुप्रीम फैसला- बोली अदालत...

डिप्टी चीफ मिनिस्टर का पद संविधान में तो नहीं है लेकिन इससे किसी नियम का उल्लंघन भी नहीं होता है।

Update: 2024-02-12 10:35 GMT

नई दिल्ली। देश के विभिन्न राज्यों में डिप्टी चीफ मिनिस्टर के पद को असंवैधानिक बताते हुए उसे खारिज करने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट की ओर से अहम फैसला दिया गया है। कोर्ट का कहना है कि डिप्टी चीफ मिनिस्टर का पद संविधान में तो नहीं है लेकिन इससे किसी नियम का उल्लंघन भी नहीं होता है।

सोमवार को उच्चतम न्यायालय के चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच ने देश के विभिन्न राज्यों में डिप्टी चीफ मिनिस्टर के पद को असंवैधानिक बताते हुए उसे खारिज करने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा है कि देश के संविधान में डिप्टी चीफ मिनिस्टर का पद तो नहीं है, लेकिन इससे किसी नियम का उल्लंघन भी नहीं होता है।

यह टिप्पणी करते हुए अदालत ने उस जनहित याचिका को खारिज कर दिया है जिसमें देश के विभिन्न राज्यों में डिप्टी चीफ मिनिस्टर के पद को खत्म करने की डिमांड की गई थी।

याचिका पर सुनवाई कर रही अदालत ने कहा है कि भले ही डिप्टी चीफ मिनिस्टर के पद का जिक्र हमारे देश के संविधान में नहीं मिलता है। लेकिन इस पद पर सत्ताधारी दल या फिर गठबंधन की किसी पार्टी के नेता को नियुक्त करना अवैध भी करार नहीं दिया गया है। इससे संविधान के किसी प्रावधान की अवहेलना भी नहीं होती है।

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