गंगा में गंदगी फैलाने पर हाईकोर्ट गंभीर, सभी को पक्षकार बनाने के निर्देश
नैनीताल। उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय ने टिहरी जिले में पवित्र पावन गंगा नदी में फ्लोटिंग हट एवं रेस्त्राओं द्वारा गंदगी फैलाये जाने को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए मंगलवार को राज्य प्रदूषण बोर्ड (पीसीबी) एवं आरोपी रेस्त्राओं को पक्षकार बनाने के निर्देश दिए हैं।
इस मामले को पौड़ी गढ़वाल के स्वर्गाश्रम जोंक निवासी नवीन सिंह राणा की ओर से चुनौती दी गई है। साथ ही प्रकरण की सुनवाई कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनोज कुमार तिवारी और न्यायमूर्ति विवेक भारती शर्मा की युगलपीठ में हुई।
याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया कि राज्य सरकार की ओर से पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए टिहरी में गंगा नदी पर फ्लोटिंग हट एवं रेस्टोरेंट के संचालन की अनुमति दी गयी है पंरतु इनमें से कुछ गंगा की पवित्रता खत्म करने में लगे हैं।
आरोप लगाया गया कि इनके द्वारा मांसाहारी भोजन के अवशेष और मल-मूत्र नदी में बहाया जा रहा है। यह करोड़ों लोगों और सनातन धर्म में की आस्था रखने वालों की भावना के साथ खिलवाड़ है।
याचिकाकर्ता की ओर से इनके संचालन पर रोक लगाए जाने की मांग करते हुए कहा गया कि इस मामले में केंद्र, राज्य सरकार के साथ ही स्थानीय जिलाधिकारी को शिकायती पत्र भेजा गया परन्तु पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।
अंत में अदालत ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए पीसीबी और ऐसे रेस्टोरेंट को पक्षकार बनाने के निर्देश दे दिए।
वार्ता