कानून अधिकारियों की भर्ती में अनुसूचित जातियों के लिये आरक्षण लागू-चीमा
चंडीगढ़। पंजाब के वित्त, योजना, आबकारी और कराधान मंत्री एडवोकेट हरपाल सिंह चीमा ने आज विधानसभा में बताया कि पंजाब सरकार द्वारा कानून अधिकारियों की भर्ती के लिये जारी विज्ञापन में पहली बारी 58 पद अनुसूचित जातियों के लिये आरक्षित रखे गये हैं, और 178 पद जनरल कैटेगरी के लिये हैं।
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान, जिनके पास गृह मामले और न्याय विभाग भी है, की तरफ से नवांशहर के विधायक द्वारा लाये गये ध्यानाकर्षण संकल्प का जवाब देते हुए वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने कहा, मैं भगवंत सिंह मान की सोच को सलाम करता हूँ जिनके नेतृत्व अधीन यह पद कुछ देर पहले भी निकाले गये थे, लेकिन कुछ तकनीकी कारणों से इस संबंधी पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट में रिट पेटीशन दाखिल हो गयी। उन्होंने कहा कि अब दोबारा सभी पदों की भर्ती के लिये 23 नवंबर, 2023 को विज्ञापन जारी किया गया है, जिसके अंतर्गत अनुसूचित जातियों के लिये आरक्षित कुल 58 पदों में 12 एडीशनल ऐडवोकेट जनरल, पांच सीनियर डिप्टी एडवोकेट जनरल, 16 डिप्टी एडवोकेट जनरल, 23 असिस्टेंट एडवोकेट जनरल और दो एडवोकेट ऑन रिकॉर्ड के पद शामिल हैं।
वित्त मंत्री ने कहा कि पंजाब में कयी बार कांग्रेस और शिरोमणि अकाली दल-भाजपा गठजोड़ ने राज किया, लेकिन राज्य में 34 प्रतिशत आबादी अनुसूचित जाति के लोगों की होने के बावजूद किसी भी सरकार ने लॉ अफसरों की नियुक्ति के समय अनुसूचित जातियों से सम्बन्धित वकीलों के लिये आरक्षण नहीं दिया।
उन्होंने कहा, ‘‘ जब मैं पहली बार विधानसभा में चुन कर आया था तो उस समय की कांग्रेस सरकार ने पहला बिल एडवोकेट जनरल की अपॉयन्टमेंट संबंधी लेकर आये थे और मैंने पहला प्रश्न इस हाऊस में इन पदों में आरक्षण संबंधी उठाया था। लेकिन उस समय कांग्रेस की सरकार थी, जो मैं समझता हूँ कि सदियों से दलितों के नाम पर वोट लेकर धोखा करती रही है। ’’
वित्त मंत्री ने कहा कि पंजाब के दलित भाईचारे के लिये आज ऐतिहासिक दिन है और वह जहाँ मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान का धन्यवाद करना चाहते हैं वहीं यह ध्यानाकर्षण संकल्प लाने के लिए मैंबर साहिब का भी धन्यवाद करना चाहते हैं