बादल फटने से टूटा बारिश का कहर- बह गई गाड़ियां- 2 लोगों की मौत
शिमला। बादल फटने से पब्लिक के ऊपर भारी बारिश का कहर टूट पड़ा है। इस दौरान कई गाड़ियां मलबे में दब गई तो कई गाड़ियां बारिश के भारी पानी के साथ बह निकली। लोगों के घर और गौशाला क्षतिग्रस्त हो गए हैं। रेस्क्यू टीमों ने पहाड़ों में फंसे तकरीबन 200 लोगों को निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया है। बारिश की वजह से दो लोगों की मौत हो गई है।
हिमाचल प्रदेश में हो रही भारी बारिश ने चौतरफा अपना कहर बरपाया है। इस दौरान बादल फटने से गिरे पानी में भारी नुकसान कर दिया है। कई गाड़ियां पहाड़ों से बहकर आए मलबे में दब गई हैं तो लोगों के घर एवं गौशाला क्षतिग्रस्त हो गई है। दो लोगों के साथ कई मवेशियों को भारी बारिश के कारण अपनी जान गंवानी पड़ी है। प्रदेश भर में सैकड़ों सड़कों पर वाहनों के पहिए तकरीबन पूरी तरह थम चुके हैं। चंडीगढ़-मनाली नेशनल हाईवे पर भूस्खलन होने से सड़क मार्ग अवरुद्ध हो गया है। मंडी-पंडोह के बीच सात मील के पास और जगह-जगह चट्टानें और मलबा गिरने से नेशनल हाईवे बंद है। मार्ग बंद होने के चलते यात्री कल रात से भूखे प्यासे जाम में फंसे हुए हैं।
नेशनल हाईवे को बहाल करने के लिए मशीनरी लगी हुई है, लेकिन बार-बार मलबा गिरने के कारण यातायात बहाल करने में बाधा आ रही है। वहीं एनएच मंडी-पठानकोट मार्ग मूसलाधार बारिश के चलते घटासनी के पास स्वाड़ नाला में मलबा आने से चार घंटे अवरुद्ध रहा। सुबह करीब साढ़े सात बजे यातायात बहाल हो पाया। इस दौरान एनएच के दोनों छोरों पर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं। कटिंडी-कमांद-बजौरा वैकल्पिक मार्ग भी शालगी के पास फिर पहाड़ी से भूस्खलन होने के कारण यातायात के लिए अवरुद्ध हो गया है। हालात ऐसे हुए है कि मूसलाधार बारिश से द्रंग क्षेत्र के दर्जनों संपर्क मार्ग बंद हो गए हैं। जहां लोक निर्माण विभाग ने बंद मार्गों को बहाल करने के लिए मशीनरी भेज दी है।