डीजे बजाने पर दूल्हे की बगैर दुल्हन लौटने की नौबत आई- करने पडे ऐसे जतन

डीजे बजाने पर दूल्हे की बगैर दुल्हन लौटने की नौबत आई- करने पडे ऐसे जतन
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मुरादाबाद। धूम-धड़ाके के साथ डीजे बजाते हुए की जा रही दूल्हे की चढत को देखकर बुरी तरह से बिफरे उलेमाओं ने दूल्हे को निकाह पढ़ाने से इंकार कर दिया। मामला बिगड़ता हुआ देखकर आगे आए दूल्हा पक्ष के बुजुर्गों ने अपनी गलती मानी और आगे से ऐसा नहीं करने की बात कही। तब कहीं जाकर दूल्हे को निकाह पढ़ाया जा सका।

दरअसल संभल के एक मोहल्ले में रहने वाले युवक की बारात बिलारी के मोहल्ला अंसारियान में फुलवा रोड स्थित एक मैरिज हाल में पहुंची थी। मैरिज हॉल के पास बारात पहुंचने से पहले ही बारात में आए कुछ युवकों ने डीजे बजाना शुरू कर दिया था। डीजे की कानफोडू आवाज को सुनकर दुल्हन पक्ष के लोगों ने इस पर विरोध जताया।

इसी बीच किसी व्यक्ति ने शादी में डीजे बजाने की जानकारी उलमा को दे दी। बस फिर क्या था, आनन-फानन में उलमा एवं मस्जिदों के इमामो की आपात बैठक नगर स्थित एक मस्जिद में बुलाई गई जिसमें कहा गया कि बिलारी में पिछले कई वर्षों से शादी समारोह के दौरान डीजे एवं बैंड बाजे पर पूरी तरह से प्रतिबंध है। इसके बाद भी बारात में आए युवकों द्वारा डीजे बजाया जाना निंदाजनक है। बैठक में तय किया गया कि बारात में डीजे बजने पर कोई उलमा दूल्हे को निकाह नहीं पढ़ायेगा। बैठक के बाद कई उलमा मैरिज हाल पहुंचे और लिए गए फैसले की जानकारी दूल्हा पक्ष के लोगों को दी कुछ स्थानीय नागरिक दूल्हा पक्ष के समर्थन में आगे आ गए। जिससे मामला रौद्र रूप धारण कर गया। मौके पर जमकर हंगामा हुआ और शोर-शराबे के बीच नोकझोंक शुरू हो गई।

बाद में मौलाना ने कहा कि जिसने डीजे बजाने का काम किया है वह सरेआम माफी मांगे और आगे से ऐसा नहीं करने का वायदा करें। दूल्हा पक्ष के बुजुर्ग द्वारा यह कहकर माफी मांगी गई कि डीजे बजाने वाले युवक कौन थे? इसकी उन्हें जानकारी नहीं है। फिर भी वह डीजे बजाने पर माफी चाहते हैं। बडे बुर्जुग के मुंह से यह बात सुनकर उलमा ने मामला निपटा दिया और दूल्हे को निकाह पढ़ाने की रस्म अदा की गई।

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