जान लेने के लिए महिला के पीछे दौड़ी बेलगाम हुई ई रिक्शा

मुजफ्फरनगर। अनट्रेंड चालक द्वारा सड़क पर दौड़ाई जा रही ई-रिक्शा अचानक से अनियंत्रित होकर महिला के पीछे उसकी जान लेने के लिए भाग निकली। ई-रिक्शा की टक्कर से महिला सड़क पर गिर गई। राहगीरों ने भागदौड़ करते हुए बेलगाम हुई ई-रिक्शा को रुकवाया और टक्कर लगने से घायल हुई महिला को इलाज के लिए अस्पताल भिजवाया। जान लेने के लिए महिला के पीछे भागी ई-रिक्शा ने इससे पहले एक सब्जी विक्रेता की रेहडी को भी टक्कर मारकर सड़क सुंघा दी थी।
दरअसल बुधवार को सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी के साथ वायरल हो रहा है, जिसे जनपद मुजफ्फरनगर के मीरापुर कस्बे का होना बताया जा रहा है। वायरल हो रहे वीडियो में साफ तौर पर दिखाई दे रहा है कि सड़क किनारे एक सब्जी वाला खड़ा हुआ है और सड़क के साथ गली मोहल्लों में भी लोगों की आवाजाही दिखाई दे रही है।
मंगलवार की देर शाम अपनी ई रिक्शा लेकर जा रहा अनट्रेंड चालक अचानक से ई रिक्शा के ऊपर से अपना नियंत्रण खो देता है। परिणाम स्वरूप ई-रिक्शा बेलगाम घोड़े की तरह सड़क पर भागती हुई सब्जी वाले की रेहडी में टक्कर मारने के बाद आगे भाग लेती है और सड़क पर जा रही महिला को पीछे से टक्कर मारकर उसे जमीन सुंधा देती है। दनादन दो हादसे होते ही सड़क पर भगदड़ मच जाती है। किसी तरह से राहगीर भागदौड़ करते हुए बेलगाम हुई ई-रिक्शा को रुकवाते हैं। इसके बाद महिला को इलाज के लिए अस्पताल ले जाया जाता है।
कहना गलत नहीं होगा कि जनपदभर में ई-रिक्शा बेलगाम घोड़े की तरह शहरों, कस्बों एवं गांवों की गली कूचे में दौड़ लगाती घूम रही है। इनमें से अनेक ई-रिक्शा ऐसी हैं जो कबाड़ियों के हाथों बेची जा चुकी है। लेकिन कबाड़ियो के यहां से खरीद कर इन्हें सड़क पर सवारियां ढोने में इस्तेमाल किया जा रहा है। यह ई रिक्शा कहीं भी अनियंत्रित होकर लोगों की जान पर धावा बोल देती है। दूसरे यह बात तो सभी जानते हैं कि इन ई-रिक्शाओ की वजह से शहरों एवं कस्बों की यातायात व्यवस्था को इस कदर ग्रहण लगा हुआ है कि पूरे दिन सड़कें जाम से जूझती रहती है।
पुलिस और प्रशासन भी इन ई रिक्शा को नियंत्रित करने के लिए कोई ज्यादा तवज्जो नहीं देता है। वैसे ई-रिक्शाओं के खिलाफ पुलिस द्वारा कार्यवाही नहीं करना उसकी मजबूरी भी माना जा सकता है। क्योंकि जिस समय भी पुलिस यातायात व्यवस्था सुधारने के लिए बेलगाम ई-रिक्शाओं के खिलाफ कार्यवाही करती है तो छूट भैया नेता गरीब के पेट पर लात मारने की बात कहते हुए इनके सुरक्षा कवच के रूप में आगे आ जाते हैं। जहां तक ई रिक्शा चलाने वालों की बात है तो इनमें ज्यादातर ऐसे लोग हैं जो वृद्धावस्था में पहुंच चुके हैं अथवा अभी किशोरावस्था में कदम रखा है।