दफ्तर से गायब हुई कोर्ट की फाइल- DM ने तहसीलदारों का वेतन रोका

दफ्तर से गायब हुई कोर्ट की फाइल- DM ने तहसीलदारों का वेतन रोका

गोंडा। जिलाधिकारी ने तरबगंज तहसील से न्यायालय की फाइल गायब होने के मामले का संज्ञान लेते हुए तहसीलदार और तहसीलदार न्यायालय समेत तीन कर्मचारियों का वेतन रोकने का आदेश दिया है। पत्रावलियां ढूंढकर सौंपने के लिए इन कर्मचारियों को 7 दिन का समय दिया गया है। समय सीमा के भीतर फाइल्स उपलब्ध नहीं करने की स्थिति में इन सभी कर्मचारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई जाएगी।

जिलाधिकारी नेहा शर्मा की अध्यक्षता में इसी शनिवार को तरबगंज तहसील परिसर में संपूर्ण समाधान दिवस का आयोजन किया गया था। इस दौरान कई फरियादियों द्वारा जिलाधिकारी के सम्मुख इस बात की शिकायत की गई कि तहसीलदार के न्यायालय से वाद की कई पत्रावलियां गायब है। जिसके चलते वादकारियों को लगातार समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। पत्रावलियों के रखरखाव के लिए जिम्मेदार कर्मियों द्वारा तबादले के बाद चार्ज का आदान-प्रदान नहीं किए जाने से वादकारी इधर-उधर भटकने के लिए मजबूर है।

जिलाधिकारी ने पत्रावलियों के गायब होने के इस मामले को गंभीरता से लेते हुए संबंधित से पूछताछ करनी शुरू कर दी। जिलाधिकारी द्वारा तत्काल संतोष रावत, अजय कुमार और नीलम श्रीवास्तव को बुलाकर पत्रावलियों के गायब होने के संबंध में पूछताछ की गई। लेकिन वह इस संबंध में कोई संतोषजनक उत्तर नहीं दे पाए हैं।

इस पर जिलाधिकारी ने तहसीलदार और तहसीलदार न्यायिक के साथ तीन कर्मचारियों का वेतन रोकने के आदेश दिए हैं। जिलाधिकारी ने इन कर्मचारियों को पत्रावलियां सौंपने के लिए 7 दिन का वक्त दिया है। इस दौरान इन्हें गायब हुई पत्रावलियों समेत अन्य सभी अभिलेख चार्ज हस्तांतरित करने होंगे। जिलाधिकारी की ओर से साफ तौर पर कहा गया है कि अभिलेखों को निर्धारित समय सीमा के भीतर उपलब्ध नहीं करने की हालत में इन कर्मियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।

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