इस अवार्ड्स ने पूरे भारत में जमीनी स्तर की क्रिकेट प्रतिभा को खोजा
नई दिल्ली। वर्चुअल समारोह में वितरित किए गए पहले क्रिकहीरोज़ अवार्ड्स ने सम्पूर्ण भारत में मौजूद जमीनी स्तर की क्रिकेट प्रतिभाओं की गहराई को अवगत कराया है। देश से करीब 17 शहरों और कस्बों के क्रिकेटरों, स्कोरर, आयोजकों और टीमों ने खेल के प्रसार और लोकप्रियता को रेखांकित करते हुए 20 श्रेणियों में पुरस्कार प्राप्त किए।
क्रिकहीरोज एक प्रमुख अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट प्रदर्शन विश्लेषण मंच है, जिसमें क्रिकेट की दुनिया भर में आधिकारिक भागीदार के रूप में कई घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय संघ और क्रिकेट बोर्ड्स के रूप में शामिल हैं । क्रिकहीरोज़ में 1.1 करोड़ से अधिक क्रिकेटरों का पंजीकरण हैं जिन्होंने कुल मिला कर 20 लाख से अधिक मैच खेले हैं। 200 से अधिक क्रिकेट संघ क्रिकहीरोज़ को अपने आधिकारिक स्कोरिंग प्लेटफॉर्म के रूप में उपयोग कर रहे हैं।
क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ बंगाल, बड़ौदा क्रिकेट एसोसिएशन, तमिलनाडु क्रिकेट एसोसिएशन, आदि जैसे प्रमुख बीसीसीआई संबद्ध राज्य संघों के साथ-साथ श्रीलंका, अफगानिस्तान, बांग्लादेश, कनाडा जैसे आईसीसी संबद्ध सदस्य और अन्य बोर्ड्स इस मंच का उपयोग कर रहे हैं।
इस अवसर पर अपने विचार साझा करते हुए क्रिकहीरोज़ के संस्थापक अभिषेक देस ने कहा, "हम पहले क्रिकहीरोज अवार्ड्स के सभी विजेताओं को बधाई देते हैं। वे सभी वास्तव में इस मान्यता के पात्र थे। हम उन्हें 2022 में इस तरह के और अधिक पुरस्कार और प्रदर्शन की कामना करते हैं। क्रिकहीरोज अवार्ड अगले साल और भी बड़ा और बेहतर होगा।'
चेन्नई के बालाजी कन्नन और बेंगलुरु की उमा काशवी ने क्रमशः वर्ष का सबसे प्रतिष्ठित क्रिकहीरो (पुरुष) और क्रिकहीरो ऑफ द ईयर (महिला) खिताब जीता। बालाजी और उमा दोनों ने कैलेंडर वर्ष 2021 में लेदर-बॉल क्रिकेट में सर्वाधिक मूल्यवान खिलाड़ी (एमवीपी) पुरस्कार जीते थे। बालाजी ने क्रिकहीरो फील्डर ऑफ ईयर का पुरस्कार भी जीता, जिसमें उनके नाम पर 368 मैचों में 161 कैच और 27 रन आउट के साथ कुल 188 शिकार हैं।
दिन के दूसरे सितारे निस्संदेह गुड़गांव के दीपांशु कक्कड़ थे, जिन्होंने लेदर-बॉल क्रिकेट में क्रिकहीरोज़ बैटर और विकेटकीपर ऑफ द ईयर सहित तीन पुरस्कार अपने नाम किए। उन्होंने स्टंप्स के पीछे 189 शिकार दबोचे एवं 50 से ऊपर की औसत से 10,000 से अधिक रन बनाए।