2017 से पहले जान जाने के डर निवेश से कतराते थे उद्यमी: योगी
बदायूँ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 2017 से पहले उत्तर प्रदेश दंगे की आग में झुलसता रहता था और जान जाने के डर से कोई व्यापारी पूंजी निवेश को तैयार नही था जबकि आज हालात बिल्कुल जुदा है क्योंकि उनकी सरकार माफिया और अपराधी तत्वों को उनके लोक में पहुंचाने का काम कर रही है।
बदायूं के सहसवान क्षेत्र में प्रमोद इंटर कालेज में आयोजित एक कार्यक्रम में योगी ने मंगलवार को लगभग 1400 करोड़ रूपये की योजनाओं का लोकार्पण शिलान्यास करने के बाद कहा कि 2017 के पहले केंद्र सरकार द्वारा कोई सर्वे कराया जाता था तो उसमें उत्तर प्रदेश देश में फिसड्डी नंबर पर रहता था आज जब कोई सर्वे आता है तो उत्तर प्रदेश के फर्स्ट या सेकेंड नंबर पर रहता है। जो सपना उत्तर प्रदेश के लिये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देखा था उसको यूपी ने साढ़े चार साल में ही पूरा किया।
समाजवादी पार्टी (सपा) की पिछली सरकार पर तंज कसते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि 2017 से पहले हर तीसरे दिन दंगा होता था। कोई व्यापारी पूंजी निवेश को तैयार नही था क्योंकि पूंजी के साथ-साथ उसको जान का भी खतरा था। महिलाओं पर निरंतर अत्याचार हो रहे थे और तत्कालीन मुख्यमंत्री का परिवार अवैध वसूली में लगा हुआ था गुंडे माफिया सरकार पर हावी थे। अगर दंगाइयों के खिलाफ कोई आवाज़ उठाता था तो उसे झूठे मुकद्दमों में जेल भेज दिया जाता था।
उन्होने कहा कि साढ़े चार साल में जनता ने हर वर्ष दीपावली का पर्व मनाया है। गोवर्धन पूजा से लेकर भईया दूज सब शांति से मनाए गए। पहले कोरोना नही था मगर दंगे थे। कर्फ्यू था अराजकता थी गुंडे माफियाओं की फौज थी हर तरफ हाहाकार था।
जारी वार्ता