बुलंद हौसला और पक्के इरादे-96 साल की महिला ने दी कोरोना को मात
नई दिल्ली। कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर की भयावह होती महामारी के बीच जहां चारों तरफ लोगों में निराशा और हताशा का माहौल है। ऐसे हालातों के बीच शाहदरा में रहने वाली 96 वर्षीय पुष्पा शर्मा ने इस जानलेवा वायरस का डटकर मुकाबला करते हुए जीवन के प्रति अपने सकारात्मक नजरिए की अनूठी मिसाल पेश की है। महिला के बुलंद हौसले और मजबूत इरादों की प्रशंसा करते हुए अब अडौस पडौस के लोग खुद को भी कोरोना से लड़ने में सक्षम पा रहे है।
राजधानी दिल्ली के शाहदरा में रहने वाली 96 वर्षीय पुष्पा शर्मा देशभर में चारों तरफ फैली कोरोना संक्रमण की महामारी की चपेट में आ गई। महिला ने संक्रमित होने के बावजूद हिम्मत नहीं हारी और उन्होंने अपने अपने आत्मबल से कोरोना संक्रमण के खिलाफ अपनी लड़ाई को जारी रखते हुए उसे बुरी तरह से हराया और वह स्वस्थ हो गई। पुष्पा की हिम्मत और साहस को देखकर उनके पड़ोसी भी बेहद खुश हैं और अब स्वयं को भी कोरोना से लड़ने में सक्षम पा रहे हैं। पुष्पा अपने 67 वर्षीय बेटे अरुण कुमार और 64 वर्षीय बहू मीणा के साथ नवीन शाहदरा में रहती है। बीते माह की 18 अप्रैल को वह कोरोना वायरस से संक्रमित हो गई थी। वह घर पर रहकर ही अपना इलाज करवा रही थी। पुष्पा के 35 वर्षीय पोते कुणाल ने बताया कि 9 मई को कराई गई जांच में उनकी रिपोर्ट नेगेटिव आई थी और अब वह कोरोना संक्रमण से पूरी तरह ठीक हो चुकी है। कुणाल ने बताया कि परिवार के कई अन्य लोग भी कोरोना संक्रमित हो गये थे। जिस कारण पूरे परिवार के लिए तकरीबन पिछले 15 दिन काफी चुनौतीपूर्ण रहे। लेकिन उनकी दादी पुष्पा ने अपने बुलंद हौसले और मजबूत इरादों से इस जानलेवा वायरस को हरा दिया। कुणाल ने बताया कि कोविड-19 की दूसरी लहर के बीच उस समय दिल्ली के अस्पतालों की हालत बेहद खराब थी और इलाज के संसाधन भी बहुत सीमित थे। इसलिए हम सब ने उन्हें घर पर ही रखकर उनका इलाज कराने का फैसला लिया। चिकित्सकों की सलाह पर उन्हें समय पर दीवाइया दी गई। ईश्वर के आशीर्वाद से आज वह हम सबके बीच कोरोना वायरस को मात देकर हमारे लिए एक आदर्श के रूप में खड़ी हुई है।