लूज डायमंड्स के लिए अब तक की पहली वर्चुअल क्रेता विक्रेता बैठक आरंभ
नई दिल्ली। भारत सरकार के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के संयुक्त सचिव सुरेश कुमार ने लूज डायमंड्स (अर्थात ऐसे हीरे जिन्हें आभूषणों में नहीं जड़ा गया है और उनका इस्तेमाल किसी भी प्रकार/आकार में किया जा सकता है) अब तक की पहली वर्चुअल क्रेता विक्रेता बैठक का उद्घाटन किया। इस दो दिवसीय बैठक का आयोजन रत्न एवं आभूषण निर्यात के लिए शीर्ष निकाय भारतीय रत्न एवं आभूषण निर्यात संवर्धन परिषद (जीजेईपीसी) द्वारा किया जा रहा है। यह बैठक क्रेताओं एवं प्रदर्शकों को आपस में जुड़ने एवं वर्चुअल प्लेटफार्म पर व्यवसाय की चर्चा करने का एक अवसर प्रदान करेगा।
अपनी उद्घाटन टिप्पणियों में भारत सरकार के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के संयुक्त सचिव सुरेश कुमार ने परिषद के प्रयासों को सराहा और कहा कि, ' भविष्य में वर्चुअल तरीके से खरीदने और बेचने का प्रारूप भी सामान्य रूप से प्रचलन में रहेगा। चूंकि हम नहीं जानते कि कितनी तेजी से यह परिदृश्य बदलेगा और हम महामारी के खत्म होने की प्रतीक्षा नहीं कर सकते, इसलिए यह विवेकपूर्ण है कि सुरक्षा के उपायों के साथ गोपनीयतापूर्वक एक ऐसे वर्चुअल प्लेटफॉर्म की ओर शिफ्ट किया जाए जहां क्रेता और विक्रेता व्यवसाय करना जारी रखं। मुझे प्रसन्नता है कि मर्केन्डाइज निर्यातों के लिहाज से यह भारत के सबसे आशाजनक क्षेत्रों में से एक है। हालांकि वर्तमान में महामारी के कारण यह क्षेत्र प्रभावित हुआ है, लेकिन हमें वृद्धि की प्रत्येक संभावना का लाभ उठाना चाहिए, खासकर जब अमेरिका, चीन एवं यूरोप जैसे बाजारों में पुनरोत्थान की संभावनाएं दिखने लगी हैं। यह एक ऐसे सेक्टर के लिए एक नई और बड़ी शुरुआत है जिसे निश्चित रूप से और व्यापक तरीके से इस वर्चुअल प्लेटफार्म का उपयोग करते रहना चाहिए और इसे विभिन्न देशों तथा क्षेत्रों के खरीदारों के साथ अपनी नियमित विपणन गतिविधि का हिस्सा बना लेना चाहिए। '
उद्घाटन समारोह को संबोधित करते हुए जीजेईपीसी के अध्यक्ष कोलिन शाह ने कहा, ' इस महामारी ने हमें कुछ अनूठा सोचने को बाध्य कर दिया है। हालांकि महामारी ने हमें जरुर प्रभावित किया है, लेकिन कुछ अच्छे संकेत भी मिल रहे हैं, अमेरिका एवं चीन जैसे बाजार का तेजी से पुनरोत्थान हो रहा है और इसका परिणाम हमारे लिए निर्यात में सुधार के रूप में आना चाहिए। कच्चे हीरे की आपूर्ति बाधित थी, इसलिए परिष्कृत मूल्य स्थिर बने रहे। '
भविष्य की योजनाओं का उल्लेख करते हुए जीजेईपीसी ने कहा, भारत उत्कृष्ट गुणवत्ता के हीरों की सोर्सिग के लिए एक पसंदीदा गंतव्य है और वीबीएसएम प्रारूप अंतर्निहित सुरक्षा उपायों के साथ उपयोग के अनुकूल हैं। हम निकट भविष्य में हीरों एवं स्वर्ण जडित आभूषणों, प्लेटिनम के आभूषणों तथा कास्ट्यूम आभूषण के लिए ऐसे वीबीएसएम का आयोजन करने की योजना बना रहे हैं। '
इस वर्चुअल क्रेता विक्रेता की मुख्य विशेषताएं इस प्रकार हैं :
-सुरक्षित ऑनलाइन ट्रेडिंग के लिए क्लाउड स्टोरेज, क्रेता विक्रेता मैचिंग
-क्रेताओं एवं विक्रेताओं के लिए प्रदर्शकों द्वारा प्रदर्शित विविध विकल्पों में से ईष्टतम चयन
-जीवन जैसा अनुभव अनुकूलन
-चंकि यह प्रारूप वर्चुअल है, इसलिए घर से या कार्यालय से कोई शारीरिक संपर्क और व्यवसाय संचालन नहीं
-विश्वसनीयता के लिए बेहद कड़े मानदंड-नेटवर्किंग अवसर में बढोतरी
-जीजेईपीसी परिषद की वीबीएसएम वेबसाइट पर प्रदर्शकों के लिए प्रोडक्ट कैटेलौग या हाई रिजुलेशन इमेज की डायरेक्टरी सृजित करने में सहायता करेगी।
-क्रेता अपनी जरुरत के बिल्कुल अनुरूप मर्केन्डाइज पाने के लिए विशिष्ट उत्पाद प्रकार की खोज करने में सक्षम होगा।
-जीजेईपीसी लाइव वीडियो बैठकों के दौरान भी वेबसाइट खरीदारों के लिए आनलाइन प्राडक्ट डायरेक्टरी को देखना आसान बना देगी
क्रेताओं एवं विक्रेताओं के बीच लाइव सीधी बातचीत के लिए, जीजेईपीसी प्रदर्शक के कार्यालय से परस्पर बातचीत के दौरान उत्पाद को देखने के लिए हाई-एंड कैमरा उपलब्ध कराएगी।
जीजेईपीसी अनुसूचित तिथि एवं समय के अनुसार, सीधे जीजेईपीसी वीबीएसएम वेबसाइट प्लेटफार्म वीडियो बैठकों का प्रबंधन, कार्यक्रम निर्धारण एवं संचालन करेगी। क्रेता एवं विक्रेता उत्पादों के ऑनलाइन मिलान के बाद, क्रेता एवं विक्रेता के बीच प्रत्येक मुलाकात कार्यक्रम का आयोजन लगभग 45 मिनट के लिए किया जाएगा और एक दिन के भीतर क्रेता एवं विक्रेता के बीच केवल 3 से 4 बैठकों की ही योजना बनाई जाएगी। प्रत्येक प्रदर्शक के लिए निर्धारित समय पर आनलाइन बैठक करने और अपने व्यवसाय की चर्चा करने के लिए बैठक आईडी का सृजन किया जाएगा, जिसे क्रेता के साथ साझा किया जाएगा।