ट्रेन छूटने के बाद दो भाइयों की खुराफात ने सिस्टम को यूं कर दिया हलकान

रास्ते में रेलगाड़ी को रुकवाकर सर्च अभियान चलाया गया। इस दौरान डॉग स्क्वायड की भी टीमें लगाकर जांच में सहायता ली गई।

Update: 2021-12-07 07:11 GMT

प्रयागराज। रेलवे स्टेशन पर पहुंचे सगे भाइयों के सामने ही रेलगाड़ी छूट गई। इसी बीच दोनों भाइयों के शैतानी दिमाग ने पुलिस को परेशान करने की योजना तैयार कर दी। जिसके चलते दोनों भाइयों ने डायल 112 पर फोन करते हुए नौतनवां दुर्ग एक्सप्रेस ट्रेन में बम होने की सूचना दे दी। ट्रेन में बम रखा होने की जानकारी मिलते ही जीआरपी में हड़कंप मच गया।रास्ते में रेलगाड़ी को रुकवाकर सर्च अभियान चलाया गया। इस दौरान डॉग स्क्वायड की भी टीमें लगाकर जांच में सहायता ली गई। लेकिन कहीं से भी बम हाथ नहीं लग सका। बाद में सूचना फर्जी पाए जाने पर पुलिस की ओर से सूचना देने वालों की धरपकड़ की कोशिश की गई। जिसके चलते सूचना देने वाले नंबर को ट्रैस किया गया। पुलिस ने इस सिलसिले में दोनों भाइयों को गिरफ्तार कर लिया है।

दरअसल इसी महीने की 4 दिसंबर को अख्तर रजा और उसके भाई अहमद रजा ने जीआरपी को फोन करके बताया था। कि नौतनवा दुर्ग एक्सप्रेस के कोच नंबर एस-5, एस-8 एवं एस-10 में बम रखा हुआ है। जैसे ही यह सूचना कंट्रोल रूम को दी गई तो जानकारी मिलते ही जीआरपी में हड़कंप मच गया। जब तक ट्रेन की लोकेशन पता की जाती, उस समय तक वह प्रतापगढ़ पहुंच चुकी थी। जानकारी मिलने के बाद प्रतापगढ़ रेलवे स्टेशन पर रेलगाड़ी को रोककर डॉग स्क्वायड टीम के अलावा बम निरोधक दस्ते को रेलगाड़ी की जांच पड़ताल में लगाया गया। सूचना के मुताबिक तीनों डब्बों की गहनता के साथ जांच पड़ताल की गई। इसके बाद पूरी रेलगाड़ी में छानबीन अभियान चलाया गया। लेकिन कहीं से भी कुछ हाथ नहीं लग सका।

जीआरपी को अंदाजा हो गया कि यह किसी ने शरारत की है। जिस मोबाइल नंबर से कंट्रोल रूम को सूचना दी गई थी उस नंबर को सर्विलांस पर लगाते हुए उसकी लोकेशन की जानकारी की गई तो वह मध्यप्रदेश के अमलाई गांव में मिना। जीआरपी ने लोकेशन के आधार पर जब छापामार कार्यवाही की तो वह नंबर अख्तर रजा का निकला। जीआरपी ने जब अख्तर को हिरासत में लेते हुए उससे पूछताछ की तो उसने बताया कि वह अपने भाई के साथ रेलगाड़ी पकड़ने के लिए प्रयागराज रेलवे स्टेशन पर पहुंचा था। लेकिन उनकी रेलगाड़ी निकल गइर्। इसके बाद उनके दिमाग में खुराफात सूझाी और डायल 112 पर सूचना देते हुए उन्होंने रेलगाड़ी में बम रखे होने की जानकारी दे दी। अख्तर ने बताया कि उसे इस बात का अंदाजा नहीं था कि इसका परिणाम क्या होगा।

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