दारू के लिए बेच दिए सरकारी रिकॉर्ड- सफाई कर्मी के खिलाफ FIR
फाइलें गायब होने को लेकर विकास भवन के अफसरों में हड़कंप मचा हुआ है।
कानपुर। कबाडी के हाथों 6 साल के सरकारी रिकॉर्ड बेचकर दारू डकारने वाले सफाई कर्मी के खिलाफ मुख्य विकास अधिकारी की ओर से अब मुकदमा दर्ज कराया गया है। दारु पीने के लिए सरकारी रिकॉर्ड बेचने के मामले का खुलासा होते ही सरकारी अफसर कबाडी के यहां पहुंचकर बेची गई फाइलों को ढूंढते फिर रहे हैं।
दरअसल कानपुर के विकास भवन में तैनात सफाई कर्मी ने दारु पीने के लिए पैसों का बंदोबस्त करने हेतु सरकारी रिकॉर्ड रावतपुर के कबाडी के हाथों बेच दिए थे। मामला उजागर होते ही पटल सहायक हरेंद्र सक्सेना को सस्पेंड करने के लिए मुख्य विकास अधिकारी की ओर से शासन को पत्र भेजा गया है। इतना ही नहीं सरकारी रिकॉर्ड को संभालकर रखने के मामले में लापरवाही बरतने वाले अफसर को नोटिस जारी करते हुए सरकारी फाइलें गायब होने की बाबत नोटिस जारी किया गया है।
जानकारी मिल रही है कि समाज कल्याण विभाग के 23 नंबर कमरे से वर्ष 2017 से लेकर वर्ष 2022 तक के वृद्धा पेंशन के सत्यापन के रिकॉर्ड गायब है। मामला उजागर होते ही विकास भवन के अफसरों व कर्मचारियों ने कबाडी के यहां दौड़ लगाई। रावतपुर स्थित कबाड़ी के यहां से फिलहाल केवल वर्ष 2023 में मृत वृद्धों के सत्यापन की 31 फाइले ही हाथ लग सकी है।सीडीओ सुधीर कुमार जिला स्तरीय अधिकारियों से अब इनका सत्यापन कर रहे हैं।
मुख्य विकास अधिकारी की ओर से दारू के लिए सरकारी रिकॉर्ड कबड्डी के हाथों बेचने वाले सफाई कर्मी के खिलाफ मुकदमा कायम कराया गया है। फाइलें गायब होने को लेकर विकास भवन के अफसरों में हड़कंप मचा हुआ है।