बेटियों को जुल्म के खिलाफ कटोरा-चम्मच लेकर करना पड़ा प्रदर्शन-सपा मुखिया

उत्तर प्रदेश की बेटियों पर सत्ताधारी और उनके संरक्षितों का जुल्म थमने का नाम नहीं ले रहा है।

Update: 2020-10-14 12:34 GMT

लखनऊ। समाजवादी पार्टी(सपाा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) पर महिलाओं के प्रति असंवेदनशील रवैया अपनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश की बेटियों पर सत्ताधारी और उनके संरक्षितों का जुल्म थमने का नाम नहीं ले रहा है।

अखिलेश यादव ने बुधवार को यहां जारी बयान में कहा कि उत्तर प्रदेश की बेटियों पर सत्ताधीशों या उनके संरक्षितों का जुल्म थमने का नाम नहीं ले रहा है। केन्द्र सरकार किसानों, नौजवानों के प्रति दमनकारी नीतियों पर उतर आई है। गरीबों, महिलाओं और समाज के कमजोर वर्ग के लोगों के प्रति उसका रवैया असंवेदनशील है। सत्ता के अहंकार में वह जनता का उत्पीड़न करने लगी है, इससे वह अलोकप्रियता के साथ लोगों के आक्रोश का भी शिकार हो रही है।

उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार महिलाओं से सम्बन्धित अपराधों में यह बहाना बनाती है कि यह आपसी सम्बंधों या रिश्तेदारी का मामला है अपराधियों का नहीं। सपा के समय की कारगर 1090 और यूपी डायल 100 नम्बर सेवाओं को निष्प्रभावी बनाकर भाजपा राजनीतिक प्रतिद्वंद्विता में जनहित का हनन कर रही है। हाथरस और दूसरी घटनाओं से भी पुलिस ने कोई सबक नहीं लिया। दरिंदों को पुलिस का खौफ नही रह गया है।

अखिलेश यादव ने कहा कि मवाना भाजपा नगर अध्यक्ष की शर्मनाक करतूत सामने आई है। उसके द्वारा महिला का अश्लील वीडियों बनाकर दुष्कर्म का प्रयास अत्यंत शर्मनाक है। झांसी में शहर के बीच 10-15 दरिंदों ने छात्रा से गैंगरेप की हैवानियत भरी वारदात को अंजाम दिया। उन्होंने कहा कि गोण्डा में दलित बहनों पर एसिड हमले की अमानवीय घटना घटी। गोरखपुर में एक किशोरी की हत्या हुई और प्रतापगढ़ में छेड़खानी से तंग किशोरी ने कुंए में कूद कर अपनी जान दे दी। आगरा में लड़की के साथ रेप का मुकदमा देर से दर्ज किया गया। हापुड़ में छेड़छाड़ के विरोध में युवती की हत्या हुई।

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों के हाथ में कटोरा देकर भाजपा सरकार ने अयोध्या में पुण्यकार्य के नाम पर जमीन हड़प ली। अयोध्या में एयरपोर्ट के लिए गरीब किसानों को भूमि का पर्याप्त मुआवजा भी नहीं दिया जा रहा है। अधिग्रहीत जमीन के बदले सर्किल रेट बढ़ाकर छह गुना मुआवजा सरकार को देना चाहिए पर वह अपनी हठधर्मी पर टिकी है। महिलाओं को अंततः कटोरा चम्मच लेकर प्रदर्शन करने को विवश होना पड़ा। सरकार गरीब की आह का मजाक न बनाए।

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