जिला पंचायत चुनाव-संयुक्त विपक्ष का धांधली का आरोप-किया बहिष्कार
लोकतंत्र को बुरी तरह से कुचल दिया गया है। संयुक्त विपक्ष ने इस मामले को लेकर चुनाव आयोग के दरवाजे तक जाने की बात कही है।
मुजफ्फरनगर। जिला पंचायत अध्यक्ष पद के मतदान में संयुक्त विपक्ष ने धांधली का आरोप लगाते हुए चुनाव का बहिष्कार किए जाने की घोषणा की है। विपक्षी नेताओं ने कहा है कि मुजफ्फरनगर में लोकतंत्र को बुरी तरह से कुचल दिया गया है। संयुक्त विपक्ष ने इस मामले को लेकर चुनाव आयोग के दरवाजे तक जाने की बात कही है।
शनिवार को जिला मुख्यालय पर हो रहे जिला पंचायत अध्यक्ष पद चुनाव में संयुक्त विपक्ष की ओर से धांधली किए जाने का आरोप लगाते हुए चुनाव प्रक्रिया का बहिष्कार किए जाने की घोषणा की गई है। जिला पंचायत अध्यक्ष चुनाव में विपक्षी दलों के संयुक्त प्रत्याशी सतेंद्र बालियान व सपा जिलाध्यक्ष प्रमोद त्यागी, रालोद जिलाध्यक्ष अजीत राठी, भाकियू जिलाध्यक्ष धीरज सिंह लाटियान, कांग्रेस जिलाध्यक्ष सुबोध शर्मा, आसपा जिलाध्यक्ष जगदीश पाल व पूर्व सांसद हरेंद्र मलिक, पूर्व विधायक राजपाल बालियान, अनिल कुमार, सपा नेता सचिन अग्रवाल, राकेश शर्मा, आसपा नेता सईदुजम्मा आदि सभी ने जिला पंचायत सदस्यों की मौजूदगी में भाजपा सरकार व प्रशासन पर भाजपा के पक्ष में चुनाव में व्यापक धांधली और पुलिस व प्रशासन पर भाजपा के एजेंट के रूप में कार्य करने का आरोप लगाया। संयुक्त विपक्ष के नेताओं ने चुनाव प्रक्रिया के दौरान अपनाई गई कार्यप्रणाली पर रोष जताते हुए धांधली के आरोपो के साथ चुनाव का बहिष्कार कर दिया।
विपक्षी नेताओ ने कहा कि मुजफ्फरनगर में लोकतंत्र को कुचल दिया गया है। चुनावी प्रक्रिया को भाजपा नेताओं ने पुलिस प्रशासन के साथ मिलकर बंधक बना लिया है। इसलिए विपक्षी प्रत्याशी व जिला पंचायत सदस्यों सहित तमाम विपक्षी दल चुनाव का बहिष्कार करते है।
सपा जिलाध्यक्ष प्रमोद त्यागी सहित सभी विपक्षी दलों ने कहा कि अगली रणनीति का वह सभी दलों से विचार विमर्श पश्चात खुलासा करेंगे। गौरतलब है कि सपा समर्थित जिला पंचायत सदस्य बताई जा रही सपा युवजन सभा के सदर विधानसभा अध्यक्ष मौहम्मद नियाज की भाभी जरीन संयुक्त विपक्ष द्वारा सजाई गई फील्डिंग और तमाम चैकसी के बावजूद पाला बदल करते हुए भाजपा खेमे में चली गई है।