चुनावी रैलियों में मास्क जरूरी क्यों नहीं? HC ने भेजा नोटिस

चुनावी रैलियों में मास्क जरूरी क्यों नहीं? HC ने भेजा नोटिस

नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल समेत देश के पांच राज्यों में चुनाव प्रचार के दौरान बिना मास्क के रैलियां और चुनाव प्रचार किये जाने पर गहरी नाराजगी जताते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार के साथ निर्वाचन आयोग को नोटिस भेजकर जवाब मांगा है। उच्च न्यायालय ने चुनाव प्रचार के दौरान भी मास्क की अनिवार्यता को लेकर केंद्र सरकार व चुनाव आयोग को जवाब दाखिल करने को कहा है। नोटिस जारी करते हुए अदालत ने पूछा है कि आखिरकार चुनाव प्रचार के दौरान लोग बिना मास्क के ही क्यों दिखाई दे रहे हैं?

दरअसल एक याची उत्तर प्रदेश पुलिस के पूर्व डीजीपी द्वारा पश्चिम बंगाल समेत देश के 5 राज्यों में हो रहे चुनाव प्रचार के दौरान लोगों के बिना मास्क के ही दिखाई देने पर दिल्ली उच्च न्यायालय में याचिका दाखिल की गई थी। याचिका में चुनाव आयोग को अपनी वेबसाइट, मोबाइल एप्स अन्य प्लेटफार्म और सामग्री पर चुनाव के दौरान कोरोना वायरस के बारे में जानकारी दिए जाने की मांग की गई है।

इसके अलावा चुनाव आयोग को डिजिटल प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के जरिए चुनाव में कोविड-19 प्रोटोकॉल के संबंध में जागरूकता फैलाने का आदेश दिए जाने की मांग याची की ओर से की गई है। यह याचिका थिंक टैंक सेंटर फॉर अकाउंटेबिलिटी एंड सिस्टमैटिक चेंज के चेयरमैन विक्रम सिंह की ओर से दिल्ली हाईकोर्ट में दायर की की गई थी। विक्रम सिंह उत्तर प्रदेश पुलिस के डीजीपी रहे हैं। गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल के अलावा असम, तमिलनाडु, पुडुचेरी और केरल में भी विधानसभा के चुनाव हो रहे है। इनमें से 4 राज्यों में मतदान हो चुका है, जबकि पश्चिम बंगाल में 10 अप्रैल को चौथे चरण की वोटिंग होनी है। राज्य में कुल 8 चरणों में मतदान होना है। विक्रम सिंह ने अपनी अर्जी में मांग की थी कि कोरोना के तमाम नियमों को ताक पर रखते हुए चुनाव प्रचार का काम जोरों पर है।



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