मेघालय विधानसभा क्या कुर्सी की जंग में जीत कर भी हार जायेगी कांग्रेस

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शिलांग : मेघालय विधानसभा चुनाव में कांग्रेस लोगों की पहली पसंद तो बन गई लेकिन बहुमत के आंकड़े से दूर है। सरकार बनाने के लिए कांग्रेस को गठजोड़ के रास्ते को अपनाना पड़ेगा। इसकी कोशिश में पार्टी देर रात से ही लगी हुई है।

नतीजों के ऐलान के कुछ घंटों बाद ही कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष विंसेंट पाला और महासचिव सीपी जोशी राज्यपाल से मुलाकात करने पहुंचे। कांग्रेस का दावा है कि वह तय वक्त में बहुमत सिद्ध करेगी।

विधानसभा चुनाव के परिणामों में किसी भी पार्टी को स्पष्ट बहुमत नहीं मिल पाने के कारण सरकार बनाने कोे लेकर दांव-पेंच की सियासत शुरू हो गई है.21 सीटों पर विजय हासिल करने वाली कांग्रेस ने शनिवार को परिणाम आने के तुरंत बाद राज्यपाल को पत्र सौंपा और सरकार बनाने का दावा पेश किया।

इसी कड़ी में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता नए चुने हुए विधायकों के साथ मुलाकात करेंगे । सरकार बनाने की कवायद में जुटी कांग्रेस अपने विधायकों के मन को भी टटोल रही है। इसी कड़ी में उन्होंने उन विधायकों की एक मीटिंग बुलाई है जिन्होंने इन चुनाव में जीत दर्ज की है। बता दें कि सरकार बनाने के दावे को लेकर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सीपी जोशी और विंसन पाला ने राज्यपाल से मुलाकात की और पत्र सौंपा
वहीं, दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी भी अपने सहयोगियों से गठबंधन की सरकार बनाने को लेकर पूरी ताकत लगा रही है. इस बाबत बीजेपी नेता और असम सरकार में मंत्री हेमंत विस्वा शर्मा नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) के नेताओं से मुलाकात कर रहे हैं. वहीं, भाजपा के वरिष्ठ नेता किरण रिजिजू और केजे अल्फोंस भी शिलांग पहुंच रहे हैं. जानकारी के मुताबिक, हेमंत विस्वा और केजे अल्फोंस दोपहर 1 बजे राज्यपाल से मुलाकात कर सकते हैं.
मेघालय में सबसे बड़ी पार्टी बन कर उभरी कांग्रेस गोवा और मणिपुर में हुई अपनी गलतियों को दोहराना नहीं चाहती है. यही कारण है कि मेघालय के नतीजे आने से पहले ही कांग्रेस पार्टी ने अपने तीन वरिष्ठ नेताओं अहमद पटेल, कमलनाथ और मुकुल वासनिक को दिल्ली से शिलांग के लिए रवाना कर दिया था. इन तीनों नेताओं ने शिलॉन्ग में आने के बाद मेघालय में कांग्रेस की सरकार बनाने के लिए रणनीति तैयार करनी शुरू कर दी।
नतीजों के बाद बीजेपी की तरफ से भी मेघालय में सरकार बनाने के संकेत दिए थे। संकेत मिलने के बाद कांग्रेस के दिग्गजों ने मेघालय में डेरा डाल लिया है। अहमद पटेल और कमलनाथ मेघालय में ही मौजूद हैं। कांग्रेस मेघालय में गोवा और मणिपुर वाली गलती दोहराने के मूड में नहीं है। मुकुल वासनिक पहले से मेघालय को लेकर सक्रिय थे।
जानकारी मिल रही है कि कांग्रेस 32 विधायकों के समर्थन के साथ राज्यपाल के पास जाएगी। हालांकि अभी उसके पास 21 विधायक हैं। राज्य में नेशनल पीपुल्स पार्टी के पास 19 विधायक और भाजपा के पास 2 विधायक हैं।

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